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Siliguri Biryani Shop Sealed: सिलीगुड़ी में शौचालय में मिली बिरयानी दुकान की सामग्री, दुकान सील

Dainik Jagran - National - May 16, 2025 - 11:28pm

जागरण संवाददाता, सिलीगुड़ी। पश्चिम बंगाल में दार्जिलिंग जिले के अधीन सिलीगुड़ी में शुक्रवार को जब विभिन्न विभागों के अधिकारियों की टीम ने होटलों और रेस्टोरेंट की जांच और छापेमारी के लिए निकली तो एक जगह बिरयानी बनाने की सामग्री शौचालय में रखी मिली। यह देख अधिकारियों के होश उड़ गए। उसी समय उस बिरयानी दुकान को सील कर दिया गया। कभी बिरयानी में कीड़े, कभी सड़ा हुआ मांस तो कभी पनीर और क्रीम से बने खाद्य पदार्थ खराब मिलने की शिकायतें लगातार सामने आ रही हैं।

खाद्य सुरक्षा विभाग और पुलिस ने की छापेमारी

शिकायतों को गंभीरता से लेते हुए शुक्रवार को सिलीगुड़ी नगर निगम, खाद्य सुरक्षा विभाग और पुलिस ने संयुक्त रूप से विभिन्न स्थानों पर छापेमारी की।

इस दौरान यह तस्वीर सामने आई। एक बिरयानी की दुकान में शौचालय के अंदर बिरयानी का चावल, मांस और अन्य सामग्री रखी मिली। बताया गया है कि लगातार शिकायतों के बाद नगर निगम के मेयर गौतम देव ने अधिकारियों के साथ बैठक की और छापेमारी का निर्देश दिया था।

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Bihar govt renames Gaya city as 'Gaya Jee'

Business News - May 16, 2025 - 11:05pm
The Bihar government on Friday approved a proposal to rename Gaya city as 'Gaya Jee', an official said. The decision was taken at a meeting of the state cabinet, chaired by Chief Minister Nitish Kumar. The decision was taken because of the city's historic and religious importance, Additional Chief Secretary (Cabinet Secretariat) S Siddharth said. The cabinet also approved the formation of the Bihar State Jeevika Fund Credit Cooperative Society Ltd, paving the way for setting up 'Jeevika Bank' from which 'Jeevika Didis' will be able to avail loans, he said. The cabinet also gave its nod to the Health Department's proposal to set up the Bihar Cancer Care and Research Society for the prevention and treatment of cancer. The cabinet decided to celebrate January 5, the birth anniversary of former deputy CM Sushil Kumar Modi, with a state function every year, he added.
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ऑपरेशन ब्लैक फॉरेस्ट से तिलमिला उठे नक्सली, निर्दोष ग्रामीणों को बना सकते हैं निशाना; अलर्ट मोड में आई एजेंसियां

Dainik Jagran - National - May 16, 2025 - 11:00pm

नीलू रंजन, जागरण, नई दिल्ली। ऑपरेशन ब्लैक फॉरेस्ट में जहां नक्सलियों के बड़े कमांडर मारे जा चुके हैं और छोटी-छोटी टुकड़ियों में कुछ नक्सली भाग खड़े हुए हैं, उसके बाद सुरक्षा एजेंसियां और सतर्क हो गई हैं। यह आशंका से इनकार नहीं किया जा सकता है कि नेतृत्वविहीन हताश ये नक्सली निर्दोष ग्रामीणों को भी निशाना बनाने की कोशिश कर सकते हैं।

इस संबंध में खुफिया एजेंसियों से मिल रही जानकारी के बाद सुरक्षा एजेंसियां सतर्क हो गई हैं। सुरक्षा बलों को नक्सलियों को खोजने और खत्म करने के लिए आपरेशन को तेज करने को कह दिया गया है।

ऑपरेशन ब्लैक फॉरेस्ट को मिली सफलता

गृह व सहकारिता मंत्री अमित शाह ने सुरक्षा बलों को ऑपरेशन ब्लैक फारेस्ट की सफलता के बाद नक्सल विरोधी अभियान को जारी रखने का निर्देश दिया है, ताकि अगले कुछ महीनों में नक्सलवाद मुक्त भारत के सपने को साकार किया जा सके।

कई नक्सली हेडक्वार्टर ध्वस्त

इस लक्ष्य को हासिल करने की दिशा में अगले चार-पांच महीने अहम साबित हो सकते हैं। बीजापुर के विभिन्न कैंपों में तैनात सुरक्षा बल के वरिष्ठ अधिकारियों ने बातचीत में आपरेशन ब्लैक फॉरेस्ट की सफलता और कुर्रगुट्टा पहाड़ी पर नक्सली हेडक्वार्टर को ध्वस्त करने के बाद निर्दोष ग्रामीणों की सुरक्षा को लेकर चिंता जताई। उनके पास आ रही सूचनाओं के अनुसार ग्रामीणों के बीच अपना दबदबा कायम रखने के लिए नक्सली भय का वातावरण बनाने की योजना बना रहे हैं।

भागे नक्सलियों की जानकारी जुटाने में लगे अधिकारी

पिछले कुछ दिनों ऐसी चार-पांच वारदात हो भी चुकी है। नक्सल विरोधी ऑपरेशन का नेतृत्व कर रहे सीआरपीएफ के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि छोटी-छोटी टुकड़ियों में भागे नक्सलियों के जानकारी जुटाने का काम तेज कर दिया गया है और जानकारी मिलते ही ऑपरेशन भी किया जाएगा। इसके लिए पूरा प्लान तैयार है।

वहीं, सुरक्षा बलों ने नेतृत्व विहीन हो चुके नक्सलियों के निचले कैडर को आत्मसमर्पण के लिए तैयार करने के भी विशेष अभियान शुरू करने का फैसला किया है। इसके लिए उनके समाज के ही विशिष्ठ लोगों की मदद की जाएगी। पिछले कुछ महीनों में आत्मसमर्पण करने वाले नक्सलियों की संख्या में तेजी आई है, जो निचले स्तर के कैडर में अपने नेतृत्व के प्रति मोहभंग को दर्शाता है।

पांच महीने में 750 नक्सिलियों ने किया सरेंडर

उनके अनुसार पिछले साल सबसे अधिक लगभग 900 नक्सलियों ने आत्मसमर्पण किया था। लेकिन इस साल चार महीने में ही 750 से अधिक नक्सली आत्मसमर्पण कर चुके हैं। उन्होंने कहा कि कुर्रगुट्टा पहाड़ के नजदीक के फॉरवर्ड आपरेशनल बेस (एफओबी) पर मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के पहुंचने से भी बड़ा संदेश गया है। पिछले पांच दशकों से नक्सलियों के रहमोकरम पर रहने वाले ग्रामीण ने पहली बार राजनीतिक नेतृत्व को अपने करीब देखा है।

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बिन पानी तरसेगा पाकिस्तान! नहर बनाकर चेनाब नदी का पानी डायवर्ट करेगा भारत, सरकार ने बनाया ये प्लान

Dainik Jagran - National - May 16, 2025 - 11:00pm

रॉयटर्स, नई दिल्ली। पहलगाम आतंकी हमले के बाद भारत पाकिस्तान की कमर तोड़ने के लिए तिहरा वार करने की तैयारी कर रहा है। इस सिलसिले में पाकिस्तान की हेकड़ी निकालने के लिए भारत रणबीर नहर का दोहरीकरण करने पर विचार कर रहा है।

इसके जरिये पाकिस्तान के पंजाब जा रहे चेनाब नदी के पानी की बड़ी मात्रा भारत में ही रोक ली जाएगी। अभी सिर्फ एक रणबीर नहर से चेनाब का पानी जम्मू के विभिन्न क्षेत्रों में पहुंचाया जाता है। जाहिर है कि इससे हम अपने भी हिस्से का पूरा पानी नहीं ले पाते हैं।

अब तक समझौता बहाल नहीं

नहर के दोहरीकरण से भारत 150 घन मीटर पानी डायवर्ट कर पाएगा। कश्मीर में 26 नागरिकों की हत्या के तुरंत बाद भारत ने सिंधु जल समझौते को स्थगित कर दिया था। यह समझौता सिंधु नदी प्रणाली के तहत जल बंटवारे का प्रबंधन करता है।

भारत और पाकिस्तान द्वारा संघर्ष विराम पर सहमत होने के बावजूद समझौते को बहाल नहीं किया गया है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने अधिकारियों को चेनाब, झेलम और सिंधु नदी की परियोजनाओं के निष्पादन में तेजी लाने का आदेश दिया है। इनमें से एक प्रमुख योजना रणबीर नहर का दोहरीकरण है।

भारत ने पानी रोकना शुरू किया
  • एक अधिकारी ने बताया कि इसको लेकर चर्चा पिछले महीने शुरू हुई थी और संघर्ष विराम के बाद भी जारी है। पाकिस्तान की लगभग 80 प्रतिशत खेती सिंधु नदी प्रणाली पर निर्भर है और लगभग सभी जलविद्युत परियोजनाएं भी इसी पर स्थित हैं।
  • इस्लामाबाद को इस बात का अंदाजा है कि भारत ने यदि बांध, नहर या अन्य बुनियादी ढांचे का निर्माण कर पानी को रोकना शुरू कर दिया, तो उसे किस तरह के दबाव का सामना करना पड़ सकता है।
नहर के दोहरीकरण का यह होगा परिणाम

वर्तमान में रणबीर नहर लगभग 120 किलोमीटर लंबी है। इसका विस्तार किए जाने पर भारत हर सेकेंड 150 घन मीटर पानी चेनाब नदी से डायवर्ट कर सकता है, जबकि वर्तमान में यह मात्रा केवल 40 घन मीटर है।

चेनाब नदी का पानी पाकिस्तान के पंजाब क्षेत्र में खेती और पेयजल के लिए बेहद आवश्यक है। अगर भारत इस पानी को मोड़ने में सक्षम हो गया, तो पाकिस्तान के कृषि क्षेत्र पर इसका गंभीर असर पड़ सकता है।

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Bihar News: ऑपरेशन सिंदूर में शहीदों के परिजनों को 50 लाख का मुआवजा, कैबिनेट की बैठक में एजेंडे को मिली मंजूरी

Dainik Jagran - May 16, 2025 - 10:48pm

डिजिटल डेस्क, पटना। ऑपरेशन सिंदूर में शहीद होने वाले बिहार के योद्धाओं के परिजनों को 50 लाख रुपये राज्य सरकार मुआवजा के तौर पर देगी। यह नई योजना है, जिसके तहत ऑपरेशन सिंदूर में शहीदों के परिजनों को यह अनुग्रह अनुदान दिया जाएगा। गृह विभाग ने इससे संबंधित आदेश जारी कर दिया है।

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अध्यक्षता में शुक्रवार को आयोजित राज्य मंत्रिपरिषद की बैठक में यह निर्णय लिया गया। कैबिनेट की बैठक में कुल 69 एजेंडों पर मुहर लगी। इससे संबंधित विस्तृत जानकारी मंत्रिमंडल विभाग के अपर मुख्य सचिव डॉ. एस सिद्धार्थ ने शुक्रवार को सूचना भवन के सभागार में आयोजित प्रेस वार्ता में दी।

उन्होंने बताया कि अब बिहार राज्य जीविका निधि साख सहकारी संघ लिमिटेड का गठन करते हुए इसका निबंधन बिहार सहकारी सोसाइटी अधिनियम, 1935 के अधीन किया जाएगा। इससे जीविका का अब अपना बैंक होगा। इसकी मदद से जीविका से जुड़ी दीदियां आसानी से लोन ले सकती हैं। गौरतलब है कि राज्य में करीब 11 लाख जीविका समूह गठित हैं, जिससे 50 लाख से अधिक महिलाएं जुड़ी हुई हैं।

अपर मुख्य सचिव ने बताया कि तत्कालीन उप-मुख्यमंत्री सह सांसद सुशील कुमार मोदी की जन्मतिथि 5 जनवरी को प्रत्येक वर्ष राजकीय समारोह के तौर पर मनाया जाएगा। इसकी मंजूरी मंत्रिपरिषद ने दे दी है।

राज्य कर्मियों का बढ़ा महंगाई भत्ता

केंद्र सरकार की तर्ज पर राज्य सरकार के कर्मचारियों को दो फीसदी महंगाई भत्ता (डीए) देने की घोषणा राज्य सरकार ने की है। इसके तहत सातवां वेतनमान वाले कर्मियों का महंगाई भत्ता 53 फीसदी से बढ़ाकर 55 फीसदी कर दी गई है। इसी तरह 5वां वेतनमान पाने वाले कर्मियों का डीए 246 प्रतिशत से बढ़ाकर 252 प्रतिशत तथा 6वां वेतनमान वाले कर्मियों को 455 से बढ़ाकर 466 प्रतिशत महंगाई भत्ता कर दिया गया है।

इस घोषणा से राज्य के खजाने पर 1 हजार 70 करोड़ रुपये का अतिरिक्त वित्तीय बोझ पड़ रहा है। वहीं, वित्तीय वर्ष 2025-26 में राज्य सरकार के स्तर से 54 हजार 213 करोड़ रुपये के बाजार ऋण समेत 58 हजार 193 करोड़ रुपये के ऋण उगाही की स्वीकृति दी गई है।

पंचायत सचिवों को मिला जन्म-मृत्यु प्रमाण-पत्र बनाने की जिम्मेदारी

अब राज्य में जन्म और मृत्यु प्रमाण-पत्र बनाने की जिम्मेदारी ग्रामीण स्तर पर पंचायत सचिवों को सौंप दी गई है। इसके अलावा राज्य में कैंसर की रोकथाम, चिकित्सा एवं समुचित प्रबंधन के लिए बिहार कैंसर केयर एवं रिसर्च सोसाइटी के गठन को मंजूरी दी गई है। कैंसर की चिकित्सा व्यवस्था को सुदृढ़ करने के साथ ही इसका विस्तार करने के लिए यह निर्णय लिया गया है।

राज्य में कैंसर के मरीजों की संख्या में लगातार बढ़ोतरी हो रही है। इन्हें समय पर समुचित चिकित्सा सुविधा प्रदान करने के लिए इस सोसाइटी का गठन किया जा रहा है। स्वास्थ्य विभाग के अंतर्गत बिहार फिजियोथेरापिस्ट या अकुपेशनल थेरापिस्ट संवर्ग के पर नियुक्ति के लिए संबंधित नियमावली का गठन किया गया है।

राज्य सरकार अपने दिव्यांगजनों को सरकारी नौकरी में सीधे 4 फीसदी क्षैतिज आरक्षण का लाभ दिया जाएगा। अपर मुख्य सचिव ने बताया कि राज्य के प्रखंड सह अंचल कार्यालयों एवं इसके परिसर की साफ-सफाई की पूरी जिम्मेवारी जीविका समूह को सौंपी गई है। इसका निर्णय भी राज्य सरकार ने लिया है।

राज्य में 1 हजार 69 नए पंचायत सरकार भवन के निर्माण को मंजूरी दी गई है। इसके लिए 27 अरब 84 करोड़ 93 लाख 27 हजार रुपये की मंजूरी दी गई है। इन सभी पंचायत सरकार भवनों में एक-एक सुधा मिल्क पार्लर का निर्माण भी कराया जाएगा।

अब गया नहीं गयाजी कहा जाएगा

राज्य सरकार ने गया का नाम बदलकर गयाजी कर दिया गया है। कैबिनेट की बैठक में इससे संबंधित प्रस्ताव पर मंजूरी दी गई। गयाजी के पौराणिक, ऐतिहासिक और धार्मिक महत्व को ध्यान में रखते हुए यह निर्णय लिया गया है।

पटना हाईकोर्ट परिसर में बनेंगे कई बहुमंजिला भवन

पटना हाईकोर्ट परिसर में कई बहुमंजिला भवन बनेंगे। इन सभी का उपयोग अलग-अलग कार्यों के लिए किया जाएगा। इसमें प्रशासनिक भवन, आईटी भवन, ऑडोटोरियम, एडीआर भवन के अलावा मल्टी लेबल कार पार्किंग शामिल होंगे। साथ ही टाईप-बी, सी एवं डी श्रेणी के आवासीय भवन भी बनाए जाएंगे। इसके लिए 302 करोड़ 56 लाख रुपये की मंजूरी दी गई है।

ऊर्जा कंपनी के 104 नए उपकेंद्र का निर्माण

राज्य की दोनों उत्तर एवं दक्षिण बिहार पावर डिस्ट्रीब्यूशन कंपनी लिमिटेड के तहत 104 नए विद्युत शक्ति उपकेंद्र के निर्माण की मंजूरी दी गई है। इसके लिए 1 हजार 576 करोड़ रुपये की स्वीकृति दी गई है। इसमें केंद्र की 60 और राज्य की 40 फीसदी की हिस्सेदारी होगी।

इन विभागों में विभिन्न पदों पर होगी बहाली
  • मंत्रिमंडल सचिवालय विभाग के अंतर्गत वायुयान संगठन निदेशालय में सृजित तकनीकी एवं गैर-तकनीकी पदों पर भर्ती एवं प्रोन्नति के लिए बिहार राज्य वायुयान संगठन संवर्ग भर्ती नियमावली, 2025 का गठन किया गया है।
  • सहकारिता विभाग के अधीन नए बनाए गए कार्यालय समेत सभी विभागीय कार्यालयों में लिपिकीय पद समेत अन्य 498 पदों पर बहाली की जाएगी।
  • वित्त विभाग में बिहार वाहन चालक संवर्ग अंतर्गत वाहन चालक (साधारण कोटि) के 18 अतिरेक पदों की अस्थाई रूप से स्वीकृति दी गई है।
  • बिहार मत्स्य लिपिकीय सेवा संवर्ग (भर्ती एवं सेवाशर्त) नियमावली, 2023 के आधार पर बिहार मत्स्य लिपिकीय संवर्ग में स्वीकृत 170 पदों को चिन्हित कर पुनर्गठन किया गया है।
कुछ बड़ी परियोजनाओं को मिली मंजूरी
  • अमृतसर-दिल्ली-कोलकाता कॉरिडोर परियोजना के तहत डोभी मोड़ से बभनदेव जंगल तक चार लेन सड़क की स्वीकृति मिली। 142 करोड़ 80 मंजूर।
  • अनुसूचित जनजाति के छात्रों के लिए डॉ. भीमराव अंबेडकर प्लस टू आवासीय विद्यालय प्रखंड इमामगंज (गया) में 720 बेड का, आरा सदर एवं रोसड़ा (समस्तीपुर) में 480-480 बेड के भवन का फिर से निर्माण कराया जाएगा। इस पर 146 करोड़ रुपये का खर्च आएगा। शिवहर के पुरनहयिया में 720 बेड के आवासीय विद्यालय के निर्माण पर 58 करोड़ की लागत से कराया जाएगा।
  • 720 बेड वाले छह डॉ. भीमराव अंबेडकर आवासीय विद्यालय गया के फतेहपुर, डुमरिया एवं आमस के अलावा जगदीशपुर (भोजपुर), रामचक (सारण), उचकागांव (गोपालगंज) भवनों का फिर से निर्माण कराया जाएगा। इस पर 394 करोड़ 80 लाख का खर्च होगा।
  • अल्पसंख्यक छात्रावास की स्वीकृति भागलपुर के पिथना, अररिया तथा गोपालगंज के मांझा में 560-560 बेड की दी गई है।
  • पर्यटन मंत्रालय के स्वदेश दर्शन योजना के अंतर्गत बोधगया में बौद्ध ध्यान एवं अनुभव केंद्र का निर्माण कराया जाएगा। इसके लिए 165 करोड़ 44 लाख रुपये की मंजूरी दी गई है।

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जेईई एडवांस में बिहार से 15 हजार अभ्यर्थी होंगे शामिल, एग्जाम से लेकर आंसर-की तक की जानकारी लेंं यहां

Dainik Jagran - May 16, 2025 - 10:39pm

जागरण संवाददाता, पटना। आइआइटी कानपुर जेईई एडवांस 2025 का आयोजन रविवार को पटना सहित देश के 222 शहरों में दो पालियों में करेगा। इसमें शामिल होने के लिए प्रवेश पत्र जारी कर दिया गया है। कंप्यूटर आधारित परीक्षा दो पालियों में होगी।

सुबह 9:00 से दोपहर 12:00 बजे तक पहली पाली

पहली पाली की परीक्षा सुबह 9:00 से दोपहर 12:00 बजे तथा दूसरी पाली दोपहर 2:30 से शाम 5:30 बजे तक निर्धारित है। दोनों पालियों में प्राप्त संयुक्त अंक के आधार पर आल इंडिया रैंक जारी की जाएगी। दोनों पालियों की परीक्षा में शामिल होने वाले अभ्यर्थी का ही परिणाम जारी किया जाएगा।

बिहार नौ शहरों में परीक्षा केंद्र

बिहार में पटना सहित नौ शहरों में परीक्षा केंद्र बनाए गए हैं। पटना के साथ आरा, औरंगाबाद, भागलपुर, दरभंगा, गया, मुजफ्फरपुर, पूर्णिया, रोहतास जिलों में भी 40 केंद्र बनाए गए हैं। 

दोनों पाली की परीक्षा है जरूरी

जेईई एडवांस आयोजन समिति से जुड़ रहे प्रो. एसके सिन्हा का कहना है कि कई परीक्षार्थी पहली पाली की परीक्षा बेहतर नहीं होने पर दूसरी में शामिल ही नहीं होते हैं। ऐसा नहीं करना चाहिए। कई बार देखा गया है कि पहली पाली में कम अंक प्राप्त विद्यार्थी दूसरी पाली में बेहतर अंक प्राप्त कर अच्छी रैंक प्राप्त कर लेते हैं।

उन्होंने बताया कि यदि पहली पाली की परीक्षा ठीक नहीं जाती है तो नर्वस नहीं हों। ब्रेक में खुद को शांत रखें, कुछ पेय पदार्थ लें और दूसरी पाली में जिन प्रश्नों को जानते हैं, उससे जवाब देना प्रारंभ करें। 

अति आत्मविश्वास से रैंक होगा प्रभावित 

आइआइटी पटना के डीन एकेडमिक प्रो. एके ठाकुर का कहना है कि परीक्षा के दौरान अति आत्मविश्वास का प्रतिकूल प्रभाव होता है। यदि कोई प्रश्न सामान्य से अधिक समय लेने वाला है तो प्रारंभ में उसे हल करने से बचें। किसी प्रश्न को अहम से नहीं जोड़कर हल नहीं करें।

बेहतर रैंक के लिए समय प्रबंधन बहुत जरूरी है। पहले चरण में उन प्रश्नों को हल करें, जिसका जवाब अच्छी तरह से जानते हैं। सभी विषय के प्रश्नों के लिए समान अंक निर्धारित होते हैं। परेशानी से बचने के लिए निर्धारित अवधि में परीक्षा केंद्र में प्रवेश कर जाएं। परीक्षा के दौरान पानी अपने साथ रखना बेहतर होगा। 

बार कोड स्कैन कर आवंटित किया जाएगा केंद्र में सीट 

परीक्षा केंद्र में प्रवेश पत्र के साथ एक वैध फोटोयुक्त पहचान पत्र भी लाना होगा। जूतों के स्थान पर चप्पल एवं सैंडल पहना बेहतर होगा। प्रवेश पत्र में दिए गए दिशा-निर्देश का पूरा-पूरा पालन करना होगा। प्रवेश पत्र में दर्ज बारकोड को स्कैन कर सीट आवंटित किए जांएगे। रफ के लिए प्रत्येक पेपर में स्क्रैंबल पैड दिए जाएंगे। आइआइटी कानपुर के अनुसार, रिस्पांस शीट 22 मई को वेबसाइट पर अपलोड कर दिया जाएगा। आंसर-की 26 मई की सुबह 10:00 बजे जारी की जाएगी।

27 मई तक स्वीकार की जाएगी आपत्ति

प्रोविजनल आंसर-की पर आपत्ति 27 मई तक स्वीकार की जाएगी। फाइनल आंसर-की और परिणाम दो जून की सुबह 10:00 बजे जारी कर दी जाएगी। आइआइटी, एनआइटी, ट्रीपल आइटी व सरकारी अनुदान प्राप्त इंजीनियरिंग कालेजों में नामांकन के लिए रजिस्ट्रेशन की प्रक्रिया पांच जून से प्रारंभ हो जाएगी।

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