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Checks and balances under threat in US?
सीबीएसई ने 127 स्कूलों की रद कर दी मान्यता, जमीन को लेकर बिहार के विद्यालयों के लिए बड़ी खबर
जागरण संवाददाता, पटना। केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) ने मानक पूरा नहीं करने वाले निजी स्कूलों पर नकेल कसनी शुरू कर दी है। इसको लेकर बोर्ड स्तर पर कार्रवाई शुरू हो गई। हाल ही में सीबीएसई ने देश भर के 127 स्कूलों का मानक नहीं पूरा करने पर पंजीयन रद किया था।
पटना के दो बड़े स्कूल हैं शामिलइसमें पटना के दो बड़े निजी स्कूल भी शामिल हैं, जिनकी मान्यता रद कर दी गई है। इन दोनों स्कूलों में नामांकित बच्चों को सीबीएसई ने बगल के स्कूल में नामांकित करने का आदेश दिया है। इस आदेश के बाद जिले के निजी स्कूलों में हड़कंप मच गया है।
विद्यालय नहीं करते डेटा अपडेटबताया जाता है कि जिले के अधिकतर स्कूलों की वेबसाइट पर निर्धारित शुल्क और शिक्षकों की संख्या का डेटा अपडेट नहीं करते हैं। सीबीएसई के पदाधिकारियों की ओर से मिली जानकारी के अनुसार कई ऐसे स्कूल भी है जिले के विभिन्न प्रखंड में चलाए जा रहे हैं जिनका लोकेशन भी दस्तावेज में लिखाए गए डेटा से मैच नहीं कर रहा है। इसके साथ ही वेबसाइट कई ऐसे स्कूल भी जहां जगह भी पर्याप्त नहीं है।
कमरे की संख्या नहीं रहती पर्याप्तसीबीएसई के मानकों के अनुसार प्रत्येक स्कूल के लिए दो एकड़ का परिसर होना अनिवार्य है, लेकिन कई ऐसे स्कूल हैं जो आवासीय परिसर में दिए गए मानक से कम जमीन में चलाए जा रहे हैं। इसके साथ ही अधिकतर स्कूलों की ओर से बच्चों एक कक्षा में कितने सेक्शन हैं और कितने बच्चे पढ़ रहे इसका भी विवरण वेबसाइट पर नहीं साझा किया गया है।
नई शाखा वाले भी हैं कईकई स्कूल ऐसे भी जो एक स्कूल की मान्यता लेते हैं और इसी नाम पर कई शाखा गल्ली-मोहल्लों संचालित किए जा रहे हैं। सीबीएसई की ओर से पहले भी अभिभावकों को सलाह दी गई है कि नए सत्र में नामांकन लेने से पहले स्कूल यू-डायस कोड की जांच कर लें, तभी बच्चों का नामांकन कराएं।
कम दो एकड़ जमीन होनी चाहिएबिहार पब्लिक स्कूल एंड चिल्ड्रेन वेलफेयर एसोसिएशन के अध्यक्ष डा. डीके सिंह ने कहा कि सीबीएसई के मानक के अनुसार स्कूल संचालित करने के लिए कम से कम दो एकड़ जमीन होनी चाहिए। कमरे 20 से 25 कमरे होने चाहिए। जिसमें कक्षा 10 वीं के लिए 12 और कक्षा 12 वीं के लिए छह कमरे होने चाहिए। जमीन का डीड सही होना चाहिए। यह नहीं रहने के कारण मान्यता रद हो जाती है।
Pahlgam Attack: पुतिन से फोन पर बात, दिल्ली में हाईलेवल मीटिंग... भारत के एक्शन से पाकिस्तान की बढ़ रही धड़कनें
जयप्रकाश रंजन, नई दिल्ली। पहलगाम में पर्यटकों पर हुए आतंकी हमले के बाद भारत और पाकिस्तान में बढ़ रहे तनाव के बीच सोमवार का दिन नई दिल्ली और इस्लामाबाद में काफी गतिविधियों वाला रहा। हमला करने वालों और उनको पनाह देने के वालों को दंडित करने का पहले ही ऐलान कर चुके पीएम नरेन्द्र मोदी के कार्यालय में कई कई उच्चस्तरीय बैठकें हुईं।
पहले उन्होंने एनएसए अजीत डोभाल के साथ मंत्रणा की फिर गृह सचिव की अगुवाई में एक टीम पीएम मोदी से खास तौर पर मिला। इसके बाद गृह मंत्रालय ने राज्यों को आपातकालीन परिस्थितियों में नागरिक सुरक्षा को देखते हुए मॉक ड्रिल करने का निर्देश दिया। नागरिकों और छात्रों को खास तौर पर प्रशिक्षित करने का निर्देश दिया गया है ताकि किसी लड़ाई की स्थिति में वह अपने आपको सुरक्षित रख सकें।
इसी दौरान रक्षा सचिव राजेश कुमार सिंह भी पीएमओ पहुंचे। इससे पहले पीएम मोदी की रूस की राष्ट्रपति पुतिन से टेलीफोन पर बात हुई। राष्ट्रपति पुतिन ने आतंकवाद के खिलाफ भारत को पूरी मदद करने का आश्वासन दिया है। पहलगाम हमले (22 अप्रैल) के बाद पीएम मोदी की भी तक 16 देशों के प्रमुखों के साथ बात हो चुकी है।
भारत के तेवर देख पाकिस्तान में घबड़ाहटउधर, इस्लामाबाद की गतिविधियां साफ बता रही हैं कि भारत के तेवर देख पाकिस्तान में घबड़ाहट किस कदर से बढ़ी हुई है। पाकिस्तान के अभिन्न मित्र चीन के राजदूत की राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी से मुलाकात हुई।
मुलाकात के बारे में चीन ने तो कुछ नहीं कहा, लेकिन पाकिस्तान मीडिया में यह चलाया गया कि चीनी राजदूत ने आश्वासन दिया है कि दक्षिण एशिया में शांति स्थापित करने के लिए चीन पाकिस्तान की मदद करता रहेगा।
पाकिस्तानी संसद की विशेष बैठक बुलाई गईपाकिस्तान सरकार ने पहलगाम मामले पर अपना पक्ष रखने के लिए पूरी दुनिया में राजदूतों को भेजने का फैसला किया है। सोमवार शाम को एक बार फिर पाकिस्तानी संसद की विशेष बैठक बुलाई गई है।
इसी बीच सोमवार को दोपहर ईरान के विदेश मंत्री अब्बास अघारची इस्लामाबाद पहुंचे जहां उनकी पाकिस्तान के विदेश मंत्री मुहम्मद ईशाक दार से मुलाकात हुई। अघारची इसी हफ्ते गुरूवार को भारत आने वाले हैं। ईरान के संबंध भारत व पाक के साथ अच्छे हैं। ऐसे में ईरान की तरफ से कोशिश हो रही है कि भारत व पाक के बीच मौजूदा तनाव को दूर किया जा सके।
यह भी उल्लेखनीय तथ्य है कि पहलगाम हमले के बाद भारत के शीर्ष नेतृत्व ने अभी तक चीन के साथ कोई संपर्क नहीं साधा है। पीएम मोदी संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (यूएनएससी) के पांच स्थाई सदस्य देशों में से चीन को छोड़ कर चार (अमेरिका, ब्रिटेन, फ्रांस व रूस) के प्रमुखों के साथ बात कर चुके हैं।
विदेश मंत्री एस जयशंकर यूएनएससी के 10 अस्थाई सदस्य देशों में से नौ देशों के विदेश मंत्रियों से बात कर चुके हैं। दसवां अस्थाई सदस्य पाकिस्तान है जिसके साथ भारत का कोई संपर्क नहीं हुआ है।
UNSC की बैठक बुलाई गईयह भी उल्लेखनीय तथ्य है कि सोमवार को देर रात या मंगलवार तड़के पाकिस्तान के आग्रह पर यूएनएससी की एक बंद कमरे में बैठक बुलाई गई है। वैसे इस तरह की बैठकों का भारत के लिए कोई बहुत कूटनीतिक महत्व नहीं है।भारत व पाकिस्तान के बीच बढ़ते तनाव को देख अंतरराष्ट्रीय जगत में भी काफी चिंता है।
राजनाथ सिंह और जापान के रक्षा मंत्री नाकातानी सान के बीच हुई बैठकनई दिल्ली में भारत के रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और जापान के रक्षा मंत्री नाकातानी सान के बीच हुई बैठक में भारत ने कहा कि, सीमा पार आतंकवाद को बढ़ावा देना पाकिस्तानी सरकार की नीति है और पहलगाम जैसी घटना से पूरे क्षेत्र में शांति के लिए खतरा पैदा हो जाता है। इस पर जापान के रक्षा मंत्री ने कहा कि आतंकवाद को किसी भी तरह से जायज नहीं ठहराया जा सकता, इस बारे में जापान भारत समेत अंतरराष्ट्रीय समुदाय के साथ है। मुझे उम्मीद है कि संबंधित दोनों पक्ष दक्षिण एशिया में शांति व स्थिरता के लिए उत्तरदायी तरीके से काम करेंगे।
पुतिन व मोदी के बीच वार्ता के बारे में विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रंधीर जायसवाल ने बताया कि राष्ट्रपति पुतिन ने पहलगाम हमले में मारे गये लोगों के प्रति गहरी संवेदना जताते हुए आतंकवाद के खिलाफ भारत को पूरी मदद देने का आश्वासन दिया। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि इस घृणित अपराध के दोषियों व उनके मददगारों के खिलाफ निश्चित तौर पर न्यायसंगत कार्रवाई होनी चाहिए।
टेलीग्राम App पर पैरेंट्स को दिख गया बहुत कुछ, पटना की लड़की दिल्ली में पढ़ रही थी
जागरण संवाददाता, पटना सिटी। आलमगंज क्षेत्र से एक नाबालिग के रहस्यमय ढंग से लापता होने का मामला प्रकाश में आया है। मामले में दिल्ली पुलिस प्रारंभिक जांच पड़ताल कर चुकी है। आलमगंज थाना में स्वजनों ने नाबालिग पुत्री के लापता होने की प्राथमिकी करा पुलिस से खोजबीन की गुहार लगाई है। प्राथमिकी में नाबालिग दो साथियों को आरोपित किया गया है।
पटना के आलमगंज में रहता है परिवारआलमगंज थाना क्षेत्र में रहने वाले स्वजनों ने बताया कि नाबालिग पुत्री दिल्ली में रह कर पढ़ाई करती रही थी। बीते दिनों वह घर से निकली और नहीं लौटी। स्वजनों को शक है कि दिल्ली में पुत्री को लाइब्रेरी में मिले दोस्त और कमरा दिलाने वाले दोस्त का षड्यंत्र है।
दिल्ली पुलिस से भी की गई शिकायतटेलीग्राम चैट से स्वजनों को बहुत जानकारी मिली है। स्वजनों ने पुत्री के लापता होने की सूचना पहले दिल्ली स्थित करोलबाग पुलिस को दी। करोलबाग थाना पुलिस एक साथी को बुला कर पूछताछ भी किया है। दिल्ली में करोलबाग पुलिस ने प्रारंभिक जांच के बाद स्वजनों को आलमगंज थाना भेज दिया।
मोबाइल नंबर के आधार पर पड़तालदिल्ली पुलिस ने बताया कि जब नाबालिग आलमगंज थाना क्षेत्र से लापता हुई है, तो मामला वहीं दर्ज होगा। आलमगंज थानाध्यक्ष राजीव कुमार ने बताया कि नाबालिग की खोजबीन जारी है। आलमगंज थाना पुलिस दिल्ली पुलिस के संपर्क में रहकर मोबाइल नंबर के आधार पर मामले की पड़ताल की जा रही है।
मोबाइल मामले में हुई एफआइआरपटना-पीडीडीयू रेलखंड पर रेलवे स्टेशन के समीप स्थित पश्चिमी ओवरब्रिज के समीप चलती ट्रेन में मोबाइल छीनने एवं धक्का-मुक्की में युवती के ट्रेन से नीचे गिरे जाने के मामले में प्राथमिकी करा दी गई है। मामला आरा का है।
चचेरे भाई ने दिया बयानघायल युवती के चचेरे भाई के बयान पर आरा रेल थाना में हुई प्राथमिकी में अज्ञात बदमाशों को आरोपित किया गया है। लड़की के सिर में गंभीर चोटें आई हैं। रेल पुलिस तकनीकी सूत्र एवं सीसीटीवी फुटेज के आधार पर बदमाशों को चिन्हित करने में लगी है। संदेह के आधार पर गिरफ्तारी के लिए छापेमारी चल रही है।
पटना रेल एसपी ने युवती से की पूछताछकुछ संदिग्धों से पूछताछ भी चल रही है। इससे पूर्व रविवार काे पटना रेल एसपी अमृतेंदु शेखर व वरीय डीएसपी प्रशांत कुमार ने सदर अस्पताल पहुंच घायल युवती से घटना के बारे में जानकारी ली थी। साथ ही बदमाशों को चिह्नित कर कार्रवाई करने का निर्देश दिए थे।
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राहुल गांधी ने की पीएम मोदी से मुलाकात, CJI भी बैठक में रहे मौजूद
पीटीआई, नई दिल्ली। सीबीआई डायरेक्टर की नियुक्ति को लेकर नेता विपक्ष राहुल गांधी ने सोमवार को पीएम मोदी से मुलाकात की। इस मीटिंग में सीजेआई संजीव खन्ना भी मौजूद रहे।
#WATCH | Delhi: Lok Sabha LoP and Congress MP Rahul Gandhi arrives at Prime Minister's Office, in Delhi. pic.twitter.com/jnbsHbYcs8
— ANI (@ANI) May 5, 202514 मई 2023 को सीबीआई (CBI) के निदेशक बने प्रवीण सूद का कार्यकाल जल्द ही खत्म होने वाला है। वो 1986 बैच के IPS अधिकारी हैं।
कौन करता है सीबीआई डायरेक्टर की नियुक्ति?सीबीआई डायरेक्टर की नियुक्ति तीन-सदस्यीय समिति के द्वारा की जाती है। इस समिति में प्रधानमंत्री, लोकसभा में विपक्ष के नेता और सीजेआई शामिल होते हैं। इस समिति की अध्यक्षता प्रधानमंत्री करते हैं।
साल 2019 में सीबीआई डायरेक्टर की नियुक्ति को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने एक बड़ा फैसला दिया था। कोर्ट ने कहा था कि जिस अधिकारी की रिटायरमेंट में छह महीना बचा हो उसे सीबीआई डायरेक्टर नहीं बनाया जा सकता है। सीबीआई डायरेक्टर का कार्यकाल कम से कम दो साल होनी चाहिए।
पूरी खबर पढ़ें: Mock Drills: '7 मई को सभी राज्यों में होगा सुरक्षा मॉक ड्रिल', पाकिस्तान से तनाव के बीच सरकार का बड़ा आदेश
समुद्र के अंदर भी नहीं बचेगा दुश्मन, भारतीय नौसेना और DRDO ने मल्टीइंफ्लुएंस ग्राउंड माइन की सफल टेस्टिंग की
एएनआई, नई दिल्ली। पहलगाम हमले (Pahalgam Terror Attack) के बाद भारत पाकिस्तान के खिलाफ एक्शन मोड में है। तीन सेना अलर्ट पर है। इसी बीच भारतीय नौसेना और डीआरडीओ (DRDO) ने स्वदेशी रूप से डिजाइन और विकसित मल्टी-इन्फ्लुएंस ग्राउंड माइन (एमआईजीएम) का सफलतापूर्वक परीक्षण किया। इस परीक्षण में कम विस्फोटक सामग्री का उपयोग किया गया, ताकि सुरक्षा मानकों का ध्यान रखा जा सके।
समुद्र के नीचे छिपे टारगेट को हिट करने में सक्षमयह माइन समुद्र के नीचे दुश्मन के जहाजों को निशाना बनाने में सक्षम है। गौरतलब है कि एमआईजीएम को भारत में पहली बार पूरी तरह स्वदेशी तकनीक से बनाया गया है। इसके इस्तेमाल से नौसेना की ताकत बढ़ेगी और समुद्री सुरक्षा को मजबूत करने में किया जाएगा।
#WATCH | DRDO (Defence Research and Development Organisation) and Indian Navy successfully conducted validation trial of Multi-Influence Ground Mine. This system will further enhance undersea warfare capabilities of Indian Navy.
(Video Source: DRDO) pic.twitter.com/tnaASlhpvt
इससे पहले भारतीय नौसेना ने अपने बनाए स्वदेशी युद्धपोत INS सूरत ने समुद्र में तेजी से उड़ाने वाले टारगेट पर सटीक हमला किया था। स्वदेशी निर्देशित मिसाइल Destroyer ने समुद्र में टारगेट को हिट किया। इस उपलब्धि से नौसेना और भी ज्यादा ताकतवर हो चुकी है। यह उपलब्धि रक्षा क्षेत्र में आत्मनिर्भर भारत के विजन को दिखाता है।
इसके बाद डीआरडीओ की प्रयोगशाला, रक्षा अनुसंधान एवं विकास प्रयोगशाला (डीआरडीएल) के हैदराबाद स्थित अत्याधुनिक स्क्रैमजेट परीक्षण केंद्र में एक्टिव कूल्ड स्क्रैमजेट सबस्केल काम्बस्टर का परीक्षण किया गया।
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Bihar Land Mutation: दाखिल-खारिज के पेंडिंग मामलों को लेकर सख्त हुए पटना DM, पांच CO को दे दी चेतावनी
जागरण संवाददाता, पटना। दाखिल-खारिज के निष्पादन में प्रगति बहुत अच्छी है। प्राप्त आवेदनों की तुलना में निष्पादन की गति तेज होने से बैकलॉग लगभग खत्म हो गया है। नए आवेदनों का भी निष्पादन हुआ है।
राजस्व मामलों की समीक्षा बैठक में जिलाधिकारी डा. चंद्रशेखर सिंह ने सोमवार को यह कहा। इस क्रम में बेहतर प्रदर्शन करनेवाले अंचलाधिकारियों को प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित भी किया गया।
समाहरणालय में हुई समीक्षा बैठक में जिलाधिकारी ने दाखिल-खारिज, परिमार्जन, अभियान बसेरा, भूमि नापी, भूमि विवाद निराकरण, आधार सीडिंग, अतिक्रमण उन्मूलन, सीमांकन, विशेष सर्वेक्षण, भू-अर्जन, भूमि उपलब्धता एवं हस्तानांतरण आदि की समीक्षा की।
इस माह के अंत तक शून्य करें सभी मामलेउन्होंने कहा कि पिछले वर्ष एक अप्रैल को दाखिल-खारिज के करीब 80,592 आवेदन लंबित थे जो तीन मई 2025 को महत 14,108 रह गए हैं। इनमें 40,207 आवेदन एक्सपायर्ड थे जो अब घटकर 1,709 पर आ गए हैं।
यह एक उल्लेखनीय उपलब्धि है। 75 दिन से अधिक अवधि के बचे हुए आवेदन अब मुख्यतः पांच अंचलों, संपतचक, बिहटा, दीदारगंज, धनरुआ एवं नौबतपुर में लंबित हैंं।
संपतचक में 636, बिहटा में 499, दीदारगंज में 156, धनरुआ में 105 तथा नौबतपुर में 82 मामले लंबित हैंं। जिलाधिकारी ने इन अंचलों के सीओ को इस माह के अंत तक ऐसे सभी मामले निष्पादित करने का अंतिम मौका दिया है।
उन्होंने कहा कि जिले के 26 में से 21 अंचलाधिकारियों के बेहतर कार्य की वे सराहना करते हैं। परिमार्जन प्लस परिमार्जन प्लस यानी डिजिटाइज्ड जमाबंदी में सुधार की स्थिति भी ठीक है।
कुल 71,698 में से 56,633 आवेदनों का निष्पादन किया गया है। अभियान बसेरा में प्रगति ठीक है। सभी भूमि सुधार उप समाहर्ताओं को इस पर विशेष ध्यान देने का निर्देश दिया।
आधार सीडिंग में पालीगंज, मसौढ़ी, बाढ़ तथा पटना सिटी अनुमंडलों में अच्छी स्थिति है। पटना सदर तथा दानापुर के भूमि सुधार उप समाहर्ताओं को विशेष रूचि लेकर इन कार्यों में तेजी लाने का निदेश दिया गया है।
उन्होंने आनलाइन अनुपलब्ध जमाबंदी के डिजिटाइजेशन तथा मापीवाद मामलों में तीव्र गति से प्रगति लाने का निदेश दिया गया है।
उन्होंने कहा कि अंचल अधिकारियों को निर्देश दिया कि परिमार्जन प्लस की दोनों श्रेणियों में 120 दिन से अधिक अवधि से लंबित सभी 8,688 मामलों को अविलंब निष्पादित करें।
बीएलडीआरए कोर्ट में 90 दिनों से अधिक के लंबित मामलों व म्यूटेशन अपील के 30 दिनों से अधिक लंबित मामलों को विधिवत शीघ्र निष्पादित करने को कहा।
जिलाधिकारी ने सभी अंचल अधिकारियों को विभिन्न योजनाओं के लिए तत्परतापूर्वक भूमि उपलब्ध कराने का निर्देश दिया।
बैठक में अपर समाहर्ता अनिल कुमार समेत सभी डीसीएलआर, अंचलाधिकारी एवं अन्य अधिकारी उपस्थित थे।
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Sepak Takraw: खेलो इंडिया यूथ गेम्स में सेपक टकरॉ की एंट्री, दर्शकों से मिला था जबरदस्त रिएक्शन
डिजिटल डेस्क, पटना। सेपक टकरॉ को स्थानीय दर्शकों से मिली जबरदस्त प्रतिक्रिया ने इसे पहली बार खेलो इंडिया यूथ गेम्स (केआईवाईजी) में मेडल स्पोर्ट्स के रूप में शामिल करने के फैसले पूरी तरह उचित ठहराया है।
हाल ही में आयोजित अंतरराष्ट्रीय सेपक टकरॉ महासंघ (ISTAF) विश्व कप में भारतीय पुरुष रेगु टीम द्वारा ऐतिहासिक स्वर्ण पदक जीतने और 2018 जकार्ता एशियाई खेलों तथा 2022 हांगझोउ एशियाई खेलों में पदक जीतने के बाद से इस खेल को एक नए दृष्टिकोण से देखा जाने लगा है।
इस खेल का दूर तक पड़ेगा असरपूर्व अंतरराष्ट्रीय खिलाड़ी और केआईवाईजी बिहार 2025 के प्रतियोगिता प्रबंधक डॉ. करुणेश कुमार ने इसे भारत में इस खेल के लिए एक मील का पत्थर बताया कि इसका दीर्घकालिक प्रभाव होगा। उन्होंने बिहार राज्य खेल संघ (BSSA) और राज्य सरकार के प्रयासों की सराहना की।
उन्होंने कहा कि सेपक टकरॉ को मेडल स्पोर्ट्स के रूप में शामिल करना एक ऐतिहासिक क्षण है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की खेलों को बढ़ावा देने की दृष्टि ने खेलो इंडिया गेम्स को एक अलग पहचान दी है। इस ब्रांड के साथ जुड़ाव इस खेल को जमीनी स्तर पर और लोकप्रिय बनाएगा।
खेलो इंडिया गेम्स से और बढ़ेगी लोकप्रियताउन्होंने आगे कहा कि हम पहले ही राष्ट्रीय खेलों और खेलो इंडिया यूनिवर्सिटी गेम्स में अपनी उपस्थिति दर्ज करा चुके हैं, और अब यह कदम खेल की लोकप्रियता को और बढ़ाएगा।
यह खेल पारंपरिक रूप से पूर्वोत्तर राज्यों से जुड़ा रहा है, लेकिन कोविड महामारी के बाद बिहार में इसे 14 प्राथमिकता वाले खेलों में शामिल किया गया और तब से यह राज्य इस खेल में एक शक्ति केंद्र के रूप में उभरकर सामने आया है। कई जिलों में खिलाड़ियों की भागीदारी में तेजी आई है।
15 दिन की ट्रेनिंग प्रभावी रहीराज्य सरकार के प्रयासों को रेखांकित करते हुए डॉ. करुणेश कुमार ने कहा कि बड़े टूर्नामेंटों में भागीदारी से पहले कम से कम 15 दिनों के अनिवार्य प्रशिक्षण शिविर आयोजित करना एक प्रभावशाली कदम रहा है।
बिहार की टीमें 30 दिवसीय प्रशिक्षण शिविर पूरी कर चुकी हैं और राज्य को उम्मीद है कि वह चारों आयोजनों में पदक जीतकर दिखाएगा।
हालांकि भारतीय खेल प्राधिकरण (SAI) के प्रशिक्षण केंद्रों जैसी केंद्र सरकार की पहलें पहले ही इस खेल को बढ़ावा देने में बड़ी भूमिका निभा रही हैं, लेकिन इसे खेलो इंडिया कार्यक्रम में शामिल करने से यह देश के सबसे दूरदराज के हिस्सों तक भी पहुंचेगा।
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Caste Census: कागज नहीं, हाईटेक टैबलेट और AI की मदद से होगी जातिगत जनगणना; जानिए क्या होगा पूरा प्रोसेस
नीलू रंजन, नई दिल्ली। आजादी के बाद पहली बार हो रही जातिवार गणना के सटीक आंकड़े जुटाने के लिए सरकार ने अत्याधुनिक तकनीक का इस्तेमाल करने का फैसला किया है। जनगणना और जातिवार गणना पूरी तरह से डिजिटल होगी और सारे आंकड़े इलेक्ट्रोनिक टैबलेट पर लिये जाएंगे।
आंकड़ों के विभिन्न पैरामीटर पर विश्वलेषण के लिए आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस (AI) के इस्तेमाल की भी तैयारी चल रही है। जनगणना कराने वाले नियंत्रक व महालेखा परीक्षक कार्यालय के उच्च पदस्थ सूत्रों के अनुसार आंकड़े जुटाने के लिए इस्तेमाल होने वाले सभी टैबलेट की जियो फेंसिंग की जा रही है।
कैसे काम करेगा टैबलेट?जियो फेंसिंग की वजह से उक्त टैबलेट में आंकड़े तभी भरे जा सकेंगे, जब जनगणना कर्मी खुद उस जगह पहुंचेगा, जहां का डाटा उसे जुटाना है। यानी हर गली, मोहल्ला, गांव में इस्तेमाल होने वाला टैबलेट पहले से तय होगा। एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि आंकड़ों की सटीकता सुनिश्चित करने के लिए यह फैसला किया गया है।
घरों के साथ-साथ उनमें मौजूद साजो सामान की भी गणना होगीमाना जा रहा है कि 2026 में जनगणना के पहले चरण से ही जातिवार गणना की शुरूआत हो जाएगी। इस चरण में सभी घरों के साथ-साथ उनमें मौजूद साजो सामान की भी गणना की जाती है। जैसे साइकिल, मोटर साइकिल, चार पहिया वाहन, मोबाइल, फ्रिज, एसी आदि-आदि।
इसी चरण में घर के सदस्यों की शैक्षिक और रोजगार के आंकड़े लिये जाएंगे। जनगणना के अंतिम चरण में सभी लोगों की उनकी जाति के साथ के गिनती की जाएगी। पहले चरण और दूसरे चरण के आंकड़ों को मिलाकर साफ होगा कि किस जाति की संख्या कितनी है और उनकी सामाजिक, आर्थिक और शैक्षणिक स्थिति क्या है।
जनगणना में किया जाएगा AI का इस्तेमालकिसी भी पैरामीटर पर जनगणना के आंकड़ों के तत्काल विश्लेषण के लिए एआइ का इस्तेमाल किया जाएगा। एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि जनगणना के जिन आंकड़ों को प्रोसेस करने में पांच-छह साल लग जाते हैं, वे कुछ महीनों में सबके सामने होंगे। यानी विभिन्न नीतियां बनाने में जनगणना और जातिवार गणना के आंकड़ों का इस्तेमाल तत्काल शुरू हो जाएगा।
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बिहार के बिजली यूजर की मिस काल से हो जाएगी प्रॉब्लम सॉल्व, सरकार के नए प्लेटफॉर्म में बहुत कुछ
राज्य ब्यूराे, पटना। बिजली उपभोक्ताओं की शिकायतों के त्वरित निवारण को केंद्र में रख एकीकृत ओमनी चैनल सीआरएम प्रणाली इस माह के अंत तक आरंभ हो जाएगी। विद्युत भवन में सोमवार को ऊर्जा सचिव पंकज कुमार पाल की अध्यक्षता में हुई बैठक में इस आशय का फैसला लिया गया।
निर्वाध सुविधा के लिए है एपबैठक मे एसबीपीडीसीएल के प्रबंध निदेशक महेंद्र कुमार तथा एनबीपीडीसीएल के प्रबंध निदेशक डा. निलेश रामचंद्र देवरे भी मौजूद थे। ऊर्जा सचिव सह बिजली कंपनी के सीएमडी ने कहा कि ओमनी चैनल को पूरी तैयारी के साथ लागू किया जाए, ताकि उपभोक्ताओं को निर्बाध सेवा मिल सके।
ऐसे किया जाएगा शिकायों का समाधानप्रथम चरण में इस सिस्टम के तहत एसएमएस, काल सेंटर, मिस्ड काल, इंटरनेट मीडिया, वेबसाइट, फाल्ट मैनेजमेंट, उपभोक्ता फीडबैक और मीटरिंग एजेंसियों से प्राप्त शिकायतों के माड्यूल शामिल रहेंगे।
कई भाषाओं में मिलेगी सुविधायह प्रणाली हिंदी, अंग्रेजी और भोजपुरी में लांच होगी। वही दूसरे चरण में मगही, मैथिली और अंगिका को भी इससे जोड़ा जाएगा। इसमें स्पीच टू टेक्स्ट, टेक्स्ट टू स्पीच और इंटरैक्टिव वायस रिस्पांस की सुविधा उपलब्ध होगी।
आटोमेटेड काल के जरिए फीडबैकउपभोक्ताओं को आटोमेटेड काल के जरिए फीडबैक देने का विकल्प भी मिलेगा। असंतोष की स्थिति में शिकायत स्वत: पुन: खुलकर वरीय अधिकारियों के पास चला जाएगा। वेबसाइट तथा व्हाट्सएप पर क्यूआर कोड को स्कैन कर भी उपभोक्ता अपनी शिकायत को् दर्ज करा सकेंगे।
विकसित किया जाएगा चैटबाटबिजली कंपनी के सीएमडी ने यह निर्देश दिया कि पारंपरिक चैटबाट के स्थान पर जेनरेटिव आर्टिफिशि्यल इंटेलिजेंस आधारित आधुनिक चैटबाट काे विकसित किया जाए। उन्होंने कहा कि बिजली उपभोक्ताओं को किसी तरह की परेशानी न हो इस पर विशेष ध्यान दिया जाना चाहिए।
राशि को लेकर सबसे अधिक शिकायतबिजली उपभोक्ताओं को अभी सबसे अधिक उनकी राशि को लेकर समस्या आती है। अधिकतर यूजर की शिकायत रहती है कि अचानक उनके मीटर में बिल निगेटिव में दिखाने लगता है। इसके लिए वह कई बार शिकायत भी करते हैं।
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