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True North, Krishnan Ramachandran sell 10% stake in Niva Bupa Health for Rs 1,507 crore

Business News - June 2, 2025 - 9:11pm
Private equity firm True North and Niva Bupa Health Insurance chief Krishnan Ramachandran divested a combined 10 per cent stake in the health insurer for Rs 1,507 crore through open market transactions.Mumbai-based True North, through its special purpose vehicle Fettle Tone LLP, sold a total of 17.29 crore shares or 9.46 per cent stake in two tranches in Niva Bupa Health Insurance, as per the bulk deal data on BSE.In addition, Niva Bupa Health Insurance MD and CEO Ramachandran offloaded 1 crore shares, representing a 0.55 per cent stake in Gurugram-based Niva Bupa Health Insurance.The shares were sold in the price range of Rs 82.11-82.76 apiece, taking the combined transaction value to Rs 1,507.50 crore.After the transaction, Fettle Tone's shareholding in Niva Bupa dipped to 8.01 per cent from 17.47 per cent.Meanwhile, DSP Mutual Fund acquired more than 4.96 crore shares in four tranches or 2.72 per cent stake in Niva Bupa Health Insurance, and SBI Mutual Fund picked up 1.51 crore shares or 0.83 per cent stake in the health insurer.The shares were purchased at an average price of Rs 82 per piece, taking the aggregate deal value to Rs 531.49 crore.Details of the other buyers of Niva Bupa Health Insurance's shares could not be ascertained on the BSE.Also, M Pallonji and Co Pvt Ltd bought more than 1.35 crore shares, amounting to a 0.74 per cent stake in Niva Bupa Health for Rs 113.83 crore, as per the bulk deal data on the National Stock Exchange (NSE).The shares were acquired at an average price of Rs 83.95 apiece.Details of the sellers of Niva Bupa Health's shares could not be identified on the NSE.Shares of Niva Bupa Health Insurance Company plunged 9.98 per cent to close at Rs 83.07 per piece on BSE, and it declined 9.90 per cent to Rs 83.15 apiece on NSE. PTI
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Patna Metro Update: पटना मेट्रो को लेकर आया अपडेट, इस तारीख से पहले दौड़ने लगेगी ट्रेन

Dainik Jagran - June 2, 2025 - 9:08pm

राज्य ब्यूरो, पटना। पटना मेट्रो के प्रायोरिटी कॉरिडोर को 15 अगस्त तक शुरू करने की योजना है। इसको लेकर पटरी बिछाने से लेकर मेट्रो डिपो तैयार करने का काम अंतिम चरण में है।

इस माह के अंत तक यह काम पूरा होने का लक्ष्य है। हालांकि, अभी तक मेट्रो ट्रेन की बोगी लाने पर अंतिम निर्णय नहीं हो सका है। इस बीच राज्य सरकार किराये पर मेट्रो बोगी लाने पर भी विचार कर रही है।

नगर विकास एवं आवास विभाग के मंत्री जिवेश कुमार ने बताया कि 15 अगस्त तक मेट्रो परिचालन को देखते हुए जल्द से जल्द बोगी लाने पर अंतिम निर्णय किया जाएगा।

राज्य सरकार बोगी खरीदने और किराये पर लेने, इन दोनों विकल्पों पर विचार कर रही है। जो विकल्प जल्द और किफायती साबित होगा, उसे ही अपनाया जाएगा।

राज्य सरकार का लक्ष्य है कि मेट्रो की सेवा 15 अगस्त से शुरू कर दी जाए। इसके लिए मेट्रो अधिकारियों को गुणवत्ता और समय दोनों का ख्याल रखने को कहा गया है।

पहले एक लाइन ही होगी शुरू:

विभागीय जानकारी के अनुसार, मलाही पकड़ी से न्यू आईएसबीटी तक प्रायोरिटी कॉरिडोर में पहले एक लाइन को ही शुरू किया जाएगा। इसके लिए बिजली से लेकर अन्य तकनीकी काम भी जारी हैं।

प्रायोरिटी कॉरिडोर में सिर्फ एक जगह जहां दो लाइनें ऊपर-नीचे से गुजर रही हैं, वहां पटरी बिछाने का काम बाकी है। यहां आईआईटी के विशेषज्ञों की मदद से स्टील का गर्डर लगाया जाना है। इसे भी जून के आखिरी तक पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है।

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मुजफ्फरपुर में बनेगा हवाई अड्डा व प्रशिक्षण अकादमी, रक्सौल एयरपोर्ट के लिए होगा 139 एकड़ भूमि अधिग्रहण

Dainik Jagran - June 2, 2025 - 9:05pm

राज्य ब्यूरो, पटना। बिहार के नौ शहरों में केंद्र की उड़ान योजना के अंतर्गत हवाई अड्डों को विकसित किया जा रहा है। इसके तहत मुजफ्फरपुर के पताही में हवाई अड्डा के निर्माण की पहल गई है। यहां हवाई अड्डा के साथ उड्डयन प्रशिक्षण अकादमी भी बनाने की योजना है।

इस हवाई अड्डा की चहारदीवारी एवं रनवे निर्माण करने के लिए भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण (एएआइ) से अनापत्ति प्रमाण-पत्र (एनओसी) की मांग की गई है। इसी तरह रक्सौल में प्रस्तावित हवाई अड्डा के मास्टर प्लान में संशोधन किया गया है। इसके लिए 139 एकड़ भूमि का अधिग्रहण किया जाएगा। इसकी अनुमति एएआइ से मिलने के उपरांत जमीन अधिग्रहण की प्रक्रिया शुरू करने के लिए पूर्वी चंपारण के डीएम को पत्र लिखा गया है।

प्रशिक्षण अकादमी के लिए 15 वर्ष के लिए एमओयू

मुजफ्फरपुर हवाई अड्डा के साथ यहां उड्डान प्रशिक्षण अकादमी को स्थापित करने के संबंध में एएआइ के साथ 15 वर्ष का एक समझौता किया गया है। इसके प्रारूप के तहत ही निर्माण की प्रक्रिया को अमलीजामा पहनाया जा रहा है। विधि विभाग की ओर से अनुमति मिलने के उपरांत आगे की प्रक्रिया शुरू की गई है।

रनवे निर्माण कार्य शीघ्र पूरा कराने का निर्देश

चाहरदीवारी और रनवे निर्माण कार्य शीघ्र पूरा कराने का निर्देश दिया गया है। इसके साथ ही यहां के हवाई अड्डा में एक वीआइपी लाउंज का निर्माण कराया जा रहा है। इसकी रूपरेखा तैयार कर ली गई है, निर्माण शीघ्र शुरू होगा।

रक्सौल में 139 एकड़ भूमि का अतिरिक्त अधिग्रहण

रक्सौल में हवाई अड्डा निर्माण की कवायद भी तेज हो गई है। इसके मास्टर प्लान में थोड़ा संशोधन किया गया है। रक्सौल हवाई अड्डा के सामने से गुजरने वाले राष्ट्रीय राजमार्ग को मोड़ने में असमर्थता के कारण ए-320 माडल के हवाई जहाज के उड़ान के लिए इसे उपर्युक्त पाया गया है। इस एयरपोर्ट के लिए 139 एकड़ अतिरिक्त भूमि की जरूरत महसूस की गई है। इसे लेकर पूर्वी चंपारण के डीएम को आवश्यक कार्रवाई के लिए निर्देश जारी किए गए हैं।

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Bihar Teacher: सरकारी शिक्षकों के लिए जरूरी खबर, शिक्षा विभाग ने छुट्टी को लेकर जारी की नई गाइडलाइन

Dainik Jagran - June 2, 2025 - 8:58pm

राज्य ब्यूरो, पटना। राज्य के सभी सरकारी विद्यालयों में कार्यरत शिक्षकों के लिए पूर्व से लागू अवकाश की स्वीकृति हेतु नई गाइडलाइन जारी की गई है। इसमें शिक्षा विभाग ने सभी जिला शिक्षा अधिकारियों को निर्देश दिया है कि शिक्षकों को अवकाश देने में स्पष्टता और पारदर्शिता बरतें और नये दिशा-निर्देश का अनुपालन सुनिश्चित कराएं और खुद भी करें।

शिक्षा विभाग के उप सचिव अमित कुमार पुष्पक की ओर से निर्गत दिशा-निर्देश में कहा गया है कि राज्य के प्राथमिक, मध्य, माध्यमिक एवं उच्च माध्यमिक विद्यालयों में कार्यरत प्रधानाध्यापकों, प्रधान शिक्षकों, सहायक शिक्षकों, विशिष्ट शिक्षकों, विद्यालय अध्यापकों (स्थानीय निकाय के शिक्षकों को छोड़कर) को बिहार सेवा संहिता के नियमों के तहत अवकाश अनुमान्य है, लेकिन ऐसे मामले सामने आ रहे हैं कि विभिन्न जिलों में अवकाश की स्वीकृति की प्रक्रिया में एकरूपता, स्पष्टता एवं पारदर्शिता नहीं बरती जा रही है। जिससे उक्त शिक्षकों एवं प्रधानाध्यापकों को अवकाश स्वीकृत कराने में कठिनाई का सामना करना पड़ रहा है। इसलिए विभाग के स्तर से निर्गत गाइडलाइन का अनुपालन सुनिश्चित करें।

अवकाश के प्रकार
  • आकस्मिक अवकाश- यह प्रत्येक कैलेंडर वर्ष में 16 दिन अनुमान्य होगा। यह सार्वजनिक अवकाश सहित लगातार 12 दिनों से अधिक अवधि के लिए स्वीकृत नहीं की जा सकेगी।आवेदन की तिथि को ही सक्षम प्राधिकार द्वारा निर्णय लिया जाएगा।
  • विशेष आकस्मिक अवकाश- महिला शिक्षकों के लिए प्रत्येक माह में लगातार दो दिन अनुमान्य है। यह सार्वजनिक एवं आकस्मिक अवकाश सहित लगातार 12 दिनों से अधिक अवधि के लिए स्वीकृत नहीं की जा सकेगी।
  • मातृत्व अवकाश/प्रसव अवकाश- दो से कम जीवित संतान वाली महिला सरकारी सेवक को छुट्टी प्रारंभ की तिथि से 180 दिनों की अवधि के लिए मातृत्व/प्रसव अवकाश देय होगा।
  • अवयस्क संतान वाली महिला कर्मचारियों को उनकी संपूर्ण सेवा अवधि के दौरान, केवल दो संतान तक उनकी परीक्षा, बीमारी की दशा में पालन-पोषण या देखभाल के लिए दो वर्ष अवकाश देय। जिला शिक्षा पदाधिकारी द्वारा आवेदन प्राप्ति की तिथि से सात दिनों के अंदर इसकी स्वीकृति/अस्वीकृति का निर्णय लिया जाएगा।
  • पितृत्व अवकाश- मेटरनिटी की संभावित तिथि के 15 दिन पहले से छह महीने तक की अवधि के बीच लगातार 15 दिन।
  • उपार्जित अवकाश- अधिकतम 300 दिनों तक यह अवकाश संचित होगा।
  • आधे वेतन पर छुट्टी- यह छुट्टी निजी काम के लिए और स्वास्थ्य प्रमाण-पत्र पर भी मिल सकती है। आधे वेतन पर छुट्टी स्वास्थ्य प्रमाण पत्र पर या निजी काम के लिए, एक समय में चाहे जितने दिनों तक ली जा सकती है और यह तब भी लागू होगा जब ऐसी छुट्टी निवृत्ति के पूर्व ली जाए। यह छुट्टी तबतक न दी जाएगी, जबतक कि छुट्टी मंजूर करने में सक्षम प्राधिकार को ऐसा विश्वास करने का कारण न हो कि सरकारी सेवक छुट्टी बीत जाने के बाद कर्तव्य पर लौट आएगा।
  • रूपांतरित छुट्टी- पूरे सेवाकाल में अधिकतम 180 दिनों तक देय है। 180 दिन यानी आधा वेतन की अर्जित 360 दिनों के अवकाश के विरुद्ध 180 दिनों का पूर्ण वेतन पर अवकाश का रूपांतरण होगा। यदि आधा वेतन का अवकाश 360 दिनों से कम अर्जित होगा तो उतने कम दिनों का ऐसे अवकाश का रूपांतरण की स्वीकृत दी जाएगी।
  • असाधारण अवकाश- उक्त अवकाश की अवधि का कोई वेतनादि देय नहीं होगा।
  • अदेय छुट्टी (लीव नॉट ड्यू)- यह छुट्टी स्वास्थ्य प्रमाण पत्र पर दी जा सकती है। यह छुट्टी समूचे सेवाकाल में 180 दिन दी जा सकती है। सरकारी सेवक जो आधा वेतन पर छुट्टी बाद में उपार्जित करेंगे, उससे यह छुट्टी काट ली जाएगी।

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Patna: आईजीआईएमएस में कोरोना की जांच शुरू, नए वैरियंट पहचान के लिए जीनोमिक सिक्वेंसिंग की सुविधा

Dainik Jagran - June 2, 2025 - 8:56pm

जागरण संवाददाता, पटना। राजधानी समेत प्रदेश में कोरोना के नए मामले बढ़ने के बाद सोमवार से आइजीआइएमएस में आरटी-पीसीआर जांच दोबारा शुरू कर दी गई है। यह जानकारी माइक्रोबायोलाजी की विभागाध्यक्ष डा. नम्रता कुमारी ने दी। उन्होंने कहा कि आइजीआइएमएस देश के ऐसे चुनिंदा संस्थानों में शामिल है जहां कोरोना वायरस के नए वैरियंट पहचान के लिए जीनोमिक सिक्वेंसिंग की सुविधा उपलब्ध है।

महामारी के पूर्व के चरणों में माइक्रोबायोलाजी विभाग की मालिक्यूलर लैब बिहार-झारखंड में एकमात्र अधिकृत केंद्र था, जहां कोविड पाजिटिव नमूनों की जीनोटाइपिंग सफलतापूर्वक की गई थी। इन आंकड़ों को इंडियन बायोलाजिकल डेटा सेंटर, फरीदाबाद के राष्ट्रीय डाटाबेस में शामिल किया गया जो राष्ट्रीय निगरानी प्रणाली के लिए अत्यंत सहायक सिद्ध हुई।

नए वैरियंट में नहीं मिला गंभीर वृद्धि का संकेत 

डा. नम्रता ने बताया कि हाल ही में देश के विभिन्न हिस्सों से दो नए वैरियंट एनबी.1.8.1 व एलएफ.7 की पहचान हुई है। इनकी संचरण क्षमता व रोग तीव्रता पर अध्ययन जारी है लेकिन वर्तमान साक्ष्यों के अनुसार इनमें किसी गंभीर वृद्धि का संकेत नहीं मिला है।

आइसीएमआर के अनुसार स्थिति अभी नियंत्रण में

कोविड-19 के मामलों में वृद्धि देखी जा रही है पर स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय व आइसीएमआर के अनुसार स्थिति अभी नियंत्रण में है। ऐसे में लोग घबराएं नहीं पर कोविड अनुरूप व्यवहार का पालन करते हुए सतर्क रहें। बिहार सरकार व स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार आइजीआइएमएस का माइक्राबायोलाजी विभाग व सार्वजनिक स्वास्थ्य विशेषज्ञ स्थिति पर लगातार नजर बनाए हुए हैं।

संक्रमण से बचाव को ये उपाय जरूरी 

कोविड-19 जो सार्स-कोव-2 वायरस से होता है मुख्यतः संक्रमित व्यक्ति की सांस की बूंदों व नजदीकी संपर्क से फैलता है। बंद व खराब वेंटिलेशन वाले स्थानों में एरोसोल के माध्यम से भी फैल सकता है। बुखार, गले में खराश, खांसी, थकान, शरीर में दर्द एवं कुछ मामलों में दस्त या सांस लेने में कठिनाई इसके सामान्य लक्षण हैं।

बीमार व्यक्तियों में लक्षण गंभीर 

अधिकतर संक्रमण हल्के हैं लेकिन वृद्धजनों या पहले से बीमार व्यक्तियों में ये लक्षण गंभीर रूप में सामने आ सकते हैं। ऐसे में सभी को कोविड उपयुक्त व्यवहार जैसे भीड़भाड़ या बंद स्थानों पर मास्क पहनना, नियमित रूप से हाथ धोना या सैनिटाइजर का प्रयोग करना, अनावश्यक भीड़ से बचना आदि शामिल हैं।

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JEE Advanced Result: टॉप 100 रैंकर को बाम्बे, दिल्ली, कानपुर व मद्रास में कंप्यूटर साइंस ब्रांच मिलने की उम्मीद

Dainik Jagran - June 2, 2025 - 8:49pm

जागरण संवाददाता, पटना। आइआइटी जेईई एडवांस का परिणाम आने के बाद अभ्यर्थियों की अब नामांकन व ब्रांच पर नजर टिकी है। विशेषज्ञों के अनुसार हर विद्यार्थी अच्छी आइआइटी के साथ मनपसंद ब्रांच चाहता है। ऐसे विद्यार्थी जिनकी आल इंडिया रैंक 100 से कम है, उन्हें टाप आइआइटी बाम्बे, दिल्ली, कानपुर, मद्रास में कम्प्यूटर साइंस मिलने की संभावना है।

दूसरी प्राथमिकता दिल्ली में कंप्यूटर साइंस

विद्यार्थियों की फर्स्ट च्वाइस देखें तो, आइआइटी मुंबई सीएस ब्रांच रहता है, जो कि टॉप-61 पर क्लाज हो जाता है। इसके बाद दूसरी प्राथमिकता दिल्ली में कंप्यूटर साइंस को अभ्यर्थी देते हैं। तीसरी प्राथमिकता में कानपुर और मद्रास की कम्प्यूटर साइंस ब्रांच को दी जाती है।

100 से 500 रैंक के मध्य दिल्ली, कानपुर की एमएनसी, एआई, डाटा साइंस उपरोक्त चारों आईआईटी की इलेक्ट्रीकल, खड़गपुर की सीएस मिल सकती है। 500 से 1000 के मध्य बीएचयू, रुड़की, हैदराबाद, गुवाहाटी की सीएस, मुम्बई, दिल्ली, कानपुर की कोर ब्रांच मिलने की संभावना है।

1000 से 4000 के मध्य रैंक प्राप्त करने वाले विद्यार्थियों को गांधी नगर, इंदौर, रूपड़, मंडी, जोधपुर, धनबाद, पटना, भुवनेश्वर में कम्प्यूटर साइंस एवं मुम्बई, दिल्ली, कानपुर, खड़गपुर आइआइटी में कम्प्यूटर साइंस के अतिरिक्त अन्य ब्रांचें मैकेनिकल, कैमिकल, सिविल, एयरोस्पेस, प्रोडक्शन आदि मिलने की संभावना रहती है। 4000 से 8000 के मध्य रुड़की, गुवाहाटी, खड़गपुर, हैदराबाद, वाराणसी में सिविल, कैमिकल, मेटलर्जी एवं मुम्बई, दिल्ली, कानपुर, मद्रास में लोअर ब्रांचेंज, पलक्कड़, तिरुपति, गोवा, धाड़वाड़, भिलाई, जम्मू में सीएस मिलने की संभावना बन सकती है।

आइआइटी पटना के कोर ब्रांच मिलने की उम्मीद

8000 से 12000 के मध्य रैंक प्राप्त करने वाले विद्यार्थियों को रोपड़, मंडी, इंदौर, गांधीनगर, जोधपुर, भुवनेश्वर, पटना, धनबाद में कोर ब्रांच के अतिरिक्त अन्य ब्रांचों के साथ-साथ पुराने सात आइआइटी में बायलोजिकल साइंस, नेवल आर्किटेक्चर, माइनिंग इंजीनियरिंग, पालीमर साइंस, सिरेमिक इंजीनियरिंग जैसी ब्रांचें मिलने की संभावना रहती है। 12 से 17 हजार के मध्य रैंक प्राप्त करने वाले अभ्यर्थी को नई आईआईटी जैसे पलक्कड़, तिरुपति, गोवा, धाड़वाड़, भिलाई, जम्मू की अन्य ब्रांचें मिलने की संभावना रहती है।

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पटना से साबरमती के लिए चलेगी स्पेशल ट्रेन, आरा-बक्सर और डीडीयू से गुजरेगी; जानिए पूरी डिटेल

Dainik Jagran - June 2, 2025 - 8:42pm

जागरण संवाददाता, पटना। गर्मी की छुट्टी के मद्देनजर भारतीय रेलवे ने तीन जोड़ी स्पेशल ट्रेन चलाने का निर्णय लिया है। साथ ही दो जोड़ी ट्रेनों के अवधि विस्तार कर दिया गया है।

रेलवे अधिकारियों का कहना है कि पटना से साबरमती के लिए स्पेशल ट्रेन का परिचालन चार, 11, 18 एवं 25 जून को किया जाएगा। यह ट्रेन पटना जंक्शन से चलेगी।

पटना जंक्शन से इस ट्रेन का चलने का समय 04.30 बजे निर्धारित किया गया है। यहां से यह ट्रेन चलने के बाद दानापुर, आरा, बक्सर, डीडीयू रुकते हुए अगले दिन साबरमती पहुंचेगी।

उत्तरी बिहार के रक्सौल से हावड़ा के लिए स्पेशल ट्रेन चलाने का निर्णय लिया गया है। यह ट्रेन सीतामढ़ी, दरभंगा, समस्तीपुर, बरौनी एवं झाझा के रास्ते चलाई जाएगी।

यह ट्रेन सात, 14, 21 एवं 28 जून को हावड़ा से 23 बजे रवाना होगी। यह ट्रेन बरौनी, समस्तीपुर, दरभंगा एवं सीतामढ़ी होते हुए रक्सौल पहुंचेगी।

वापसी में यह ट्रेन आठ, 15, 22 ए वं 29 जून को रक्सौल से शाम साढ़े पांच बजे रवाना होगी और अगले दिन हावड़ा पहुंचेगी। इसके अलावा, एक ट्रेन मालदा से आनंद विहार के लिए चलाने का निर्णय लिया गया है।

माता वैष्णो देवी कटडा-गुवाहाटी स्पेशल ट्रेन का अवधि विस्तार

माता वैष्णो देवी कटड़ा-गुवाहाटी स्पेशल ट्रेन कटड़ा से छह जून से 11 जुलाई तक चलाई जाएगी। यह ट्रेन प्रत्येक शुक्रवार को चलाई जाएगी। यह ट्रेन कटड़ा से प्रत्येक शुक्रवार को चलेगी, वहीं गुवाहाटी से यह ट्रेन नौ से 14 जुलाई तक चलाई जाएगी।

प्रत्येक सोमवार को यह ट्रेन नौ जून से 14 जुलाई तक चलाई जाएगी। कटड़ा-गुवाहाटी स्पेशल ट्रेन हाजीपुर-बराैनी-कटिहार के रास्ते चलाई जाएगी। इसके अलावा उदयपुर सिटी-फारबिसगंज स्पेशल ट्रेन तीन जून से 24 जून तक चलाई जाएगी। यह ट्रेन प्रत्येक मंगलवार को उदयपुर सिटी से चलाई जाएगी।

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Bihar Politics: भाजपा को बड़ा झटका, कद्दावर नेता ने दिया इस्तीफा; एक साल पहले छोड़ी थी कांग्रेस

Dainik Jagran - June 2, 2025 - 8:34pm

राज्य ब्यूरो, पटना। भाजपा के प्रदेश मीडिया पैनलिस्ट आसित नाथ तिवारी ने पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से त्याग पत्र दे दिया है। वे साल भर पहले कांग्रेस से भाजपा में शामिल हुए थे।

भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष डॉ. दिलीप जायसवाल को लिखे पत्र में तिवारी ने कहा है कि एक बलात्कार पीड़ित बालिका को पीएमसीएच में एडमिट करने में देरी और उसके प्रति पार्टी के दृष्टिकोण से वे आहत हुए हैं। उन्होंने अवसर देने के लिए प्रदेश अध्यक्ष के प्रति आभार भी प्रकट किया।

प्रिय रंजन ने ली राजद की सदस्यता

पत्रकारिता से राजनीतिक जगत में कदम रखने वाले प्रिय रंजन ने सोमवार को विधिवत राजद की सदस्यता ग्रहण कर ली। पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव और पूर्व विधायक भोला यादव ने पार्टी कार्यालय में प्रिय रंजन को सदस्यता दिलाई।

प्रिय रंजन छात्र जीवन में कांग्रेस से जुड़े थे। वह कांग्रेस के छात्र संगठन एनएसयूआई की तकनीकी सेल के प्रदेश अध्यक्ष के रूप में काम कर चुके हैं।

बाद में युवा कांग्रेस के प्रदेश महासचिव भी मनोनीत किए गए, लेकिन पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की हत्या के बाद वह राजनीति छोड़कर पत्रकारिता में आ गए।

पत्रकारिता के दौरान भी उन्होंने राजद प्रमुख लालू यादव की नीतियों का ही अनुसरण किया। साथ ही व्यक्तिगत जीवन में हमेशा वंचित समाज के लिए काम करते रहे।

चंदन सिंह बने प्रदेश जदयू सलाहकार समिति के सदस्य

चंदन सिंह को प्रदेश जदयू सलाहकार समिति का सदस्य बनाया गया है। जदयू प्रदेश अध्यक्ष उमेश सिंह कुशवाहा ने उन्हें अपने कक्ष में उनके मनोनयन का पत्र सौंपा।

प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि चंदन सिंह की राजनीतिक क्षमता व अनुभव का लाभ पार्टी को मिलेगा। चंदन ने पार्टी अध्यक्ष द्वारा यह जिम्मेदारी दिए जाने को ले आभार प्रकट किया है।

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Bihar RERA News: सेटेलाइट चित्रों से निगरानी, बिना रेरा निबंधन के 31 प्रोजेक्ट की बुकिंग और बिक्री

Dainik Jagran - June 2, 2025 - 8:28pm

राज्य ब्यूरो, पटना। बिहार रेरा अब बिना निबंधन के चल रहे प्रोजेक्ट की पहचान सेटेलाइट चित्रों से कर रबा है। इसके लिए तकनीकी दल का गठन किया गया है। सोमवार को यह तकनीकी दल सारण पहुंचा जहां विस्तृत जांच में कई गड़बड़ियां पकड़ी गईं।

रेरा के अनुसार, सारण जिले के विभिन्न अंचलों के करीब 40 प्लाटेड डेवलपमेंट प्रोजेक्ट का निरिक्षण किया गया जिनमें लगभग 31 प्रोजेक्ट ऐसे थे जो आयोजना क्षेत्र में आते हैं, मगर बिना रेरा निबंधन कराए ही इनका प्रचार किया जा रहा है और प्लाट की बुकिंग एवं बिक्री भी की जा रही है।

रेरा बिहार के जांच आयुक्त संजय कुमार सिंह के नेतृत्व में प्राधिकरण के तकनीकी दल ने सोमवार को सारण के जिला पदाधिकारी अमन समीर एवं अन्य वरिष्ठ अधिकारीयों के साथ कलेक्ट्रेट में बैठक की।

रेरा जांच आयुक्त ने सारण डीएम से आग्रह किया कि संबंधित अंचलाधिकारियों को ये निदेश दिया जाए कि वे एक सप्ताह के अंदर पहचान किए गए स्थल के प्लाट का खेसरा संख्या एवं जमाबंदी विवरण पता कर रेरा बिहार को सूचित करें, ताकि संबंधित प्रमोटरों और जमीन मालिकों पर कानून के अनुसार कार्रवाई की जा सके।

जांच आयुक्त ने जिला प्रशासन से ऐसे स्थानों की जानकारी मांगी है, जहां रेरा की ओर से लोगों को जागरूक करने के लिए कार्यक्रम का आयोजन किया जा सके।

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Other income boosts performance of banks in Q4 amid muted growth in core operations

Business News - June 2, 2025 - 8:18pm
While a majority of the banks reported double-digit net profit growth for the March 2025 quarter, it was largely driven by a robust increase in the other income as most of them were unable to post strong growth in net interest income (NII). According to an analysis of the quarterly financials of listed banks by ETIG, the share of the aggregate other income in total income was at a three-year high of 15.7% in the March quarter, rising from the lows of 11.6% in the June 2022 quarter.“Bond yields fell significantly during the quarter, creating an opportunity for banks to book profits by selling a portion of their government securities holdings,” said Madhavankutty G, chief economist, Canara Bank. He added that the Reserve Bank of India’s (RBI) open market operations (OMOs) supported banks in offloading these securities. RBI started conducting OMOs to infuse liquidity from January this year.Other income of banks includes fees and commissions, recovery from written-off loans, gains from treasury operations and sale of investments. Public sector banks (PSB) registered higher treasury gains as they hold higher level of government securities, which serve as collateral for repo transactions with the RBI and to meet statutory liquidity ratio requirements.Among PSBs, the country’s largest bank State Bank of India reported 40% increase in other income in the fourth quarter while its net interest income (NII) rose by 2.7%. Bank of India, reported 46% growth in net profit, driven by a 48% surge in other income. Its net interest income (NII), on the other hand, rose by just 2.1%. Bank of Baroda’s other income jumped 24%, while NII fell by 6.6%.The yield on the benchmark 10-year bond has declined from 7% on April 1, 2024 to 6.58% on March 31 this year, reflecting a fall of 42 basis points (bps). During the fourth quarter, the yield declined by 20 bps. Bond yields and prices move in the opposite directions, which means falling yields pushes up bond prices thereby making it lucrative for banks to sell bonds and book profits.“It was a challenging quarter for banks, with elevated funding costs and difficulties in mobilising deposits, but the rise in other income helped cushion the pressure on profit margins,” said Narendra Solanki, research head at Anand Rathi Shares and Stock Brokers.The share of other income in total income tends to increase in the March quarter every year as banks push for recoveries from written off loans.Interest income growth has been muted for banks this year due to weak credit demand, which moderated from 16% in FY24 to 12% in FY25. Also tighter liquidity in the fourth quarter kept the cost of funds high which squeezed net interest income.The trend of higher other income is likely to continue in the current financial year, say experts. “Other income is expected to remain elevated this year, largely driven by healthy treasury gains,” said Madhavankutty G highlighting that given the likelihood of surplus system liquidity, bond yields are expected to decline further thereby promoting banks to realise profits from the sale of government securities.
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