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IPL के बाद बिहार में सजेगा क्रिकेट का मेला, मैदान में जलवा बिखेरेंगे वैभव सूर्यवंशी सहित ये दिग्गज क्रिकेटर

Dainik Jagran - May 30, 2025 - 10:43am

अक्षय पांडेय, पटना। घरेलू क्रिकेट में झारखंड के लिए मैदान पर उतरने वाले ईशान किशन एवं पश्चिम बंगाल के लिए खेलने वाले मुकेश कुमार और भारतीय टेस्ट टीम के सदस्य आकाशदीप बिहार प्रीमियर लीग (बीपीएल) में अपना जलवा बिखेर सकते हैं।

जून के दूसरे सप्ताह से शुरू होने वाली बीपीएल लीग में आइपीएल में राजस्थान रायल्स के लिए शतक जड़ चर्चा में आए वैभव सूर्यवंशी भी चौके-छक्के जड़ते दिखेंगे।

बिहार क्रिकेट एसोसिएशन (बीसीए) के तत्वावधान में 20 ओवर की बीपीएल में आइपीएल की तरह रोमांच का तड़का लगने की उम्मीद है। बीसीए से मिली जानकारी के अनुसार बीपीएल की गवर्निंग काउंसिल भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) के पास एक प्रस्ताव लेकर जाएगी।

इसमें उन खिलाड़ियों को बीपीएल में शामिल करने की अनुमति मांगी जाएगी, जो बिहार के हैं, पर अभी दूसरे राज्यों से खेलते हैं। गवर्निंग काउंसिल बीसीसीआइ से आग्रह करेगी कि बीपीएल में मूल रूप से बिहार के रहने वाले खिलाड़ियों को बीपीएल में खेलने की अनुमति दी जाए। इसमें ईशान किशन, मुकेश कुमार, आकाशदीप जैसे खिलाड़ी भी शामिल हैं।

आइपीएल खिलाड़ियों के साथ नेट पर अभ्यास करने वाले शाकिब हुसैन, अनुकूल राय, अनुनय नारायण सिंह और बिपिन कुमार सिंह जैसे खिलाड़ी खेलते नजर आएंगे।

आइपीएल के नियम होंगे लागू

पटना के ऊर्जा मैदान पर बीपीएल के मुकाबले होंगे। इसमें छह टीमों को खेलने की अनुमति दी जाएगी। टीमों के नाम शाहाबाद सुल्तान्स, पाटलिपुत्र पैंथर्स, मिथिला किंग्स, अंगिका टागर्स, मगथ मास्टर्स और सीमांचल सोल्जर्स रखे गए हैं। क्रिकेटरों की खरीद में आइपीएल का नियम लागू होगा।

बीपीएल गवर्निंग काउंसिल खिलाड़ियों की बेस प्राइज तय करेगी। फ्रेंचाइजी टीमें ऑक्शन के जरिए प्रदेश के सौ से अधिक खिलाड़ियों का चयन करेंगी। टीमों का बजट तीन करोड़ ही है, पर बिहार के नाम पर ईशान किशन, मुकेश कुमार और आकाशदीप जैसे दिग्गज खिलाड़ियों के खेलने की उम्मीद है।

बीपीएल को तड़का लगाएगा वैभव का बल्ला

बिहार प्रीमियर लीग में वैभव सूर्यवंशी भी खेलेंगे। वैभव इंडिया अंडर-19 टीम में शामिल हैं। भारतीय टीम का दौरा 24 जून से शुरू होगा। अभी वैभव बेंगलुरु में एनसीए कैंप में शामिल हैं। बीसीसीआइ के नियम के मुताबिक राज्य क्रिकेट बोर्ड किसी महत्वपूर्ण मैच के लिए खिलाड़ी को बुला सकता है।

बीपीएल को प्राथमिकता देने के लिए बीसीए की वैभव को शुरुआत के कुछ मैचों में मैदान पर उतारने की योजना है। झारखंड से ईशान, बंगाल से मुकेश और आकाशदीप, भारतीय टीम के सदस्य रहे पटना के विकेटकीपर बल्लेबाज ईशान किशन झारखंड से, गोपालगंज के तेज गेंदबाज मुकेश कुमार और रोहतास के आकाशदीप पश्चिम बंगाल से घरेलू क्रिकेट खेलते हैं।

तेज गेंदबाज आकाशदीप इंग्लैड दौरे पर जा रही भारतीय टीम में भी शामिल हैं। ईशान सनराइजर्स हैदराबाद, मुकेश कुमार दिल्ली कैपिटल्स और आकाशदीप रायल चैलेंजर्स बेंगलुरु के लिए आइपीएल खेलते हैं।

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Patna Airport: पटना एयरपोर्ट से विदेश यात्रा के लिए अभी करना होगा और इंतजार, सामने आई ये बड़ी वजह

Dainik Jagran - May 30, 2025 - 10:29am

जागरण संवाददाता, पटना। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने गुरुवार की शाम पटना एयरपोर्ट के नए टर्मिनल का लोकार्पण कर दिया है, लेकिन यात्रियों को अंतरराष्ट्रीय स्तर की सुविधाओं का उपभोग करने के लिए पांच जून तक इंतजार करना होगा। इसके पीछे पुराने टर्मिनल भवन से विमानन कंपनियों के काउंटर और एएआइ का कार्यालय शिफ्ट करना बताया जा रहा है।

नए टर्मिनल भवन के निर्माण का काम वर्ष 2018 में शुरू हुआ था, लेकिन कोरोना की वजह से निर्माण कार्य बाधित हुआ और समयावधि बढ़ती चली गई। इस भवन का डिजायन सिंगापुर की मेनहार्ट कंपनी ने किया था। हैदराबाद की नागार्जुन कंस्ट्रक्शन ने निर्माण कार्य पूरा किया।

आगमन और प्रस्थान को अलग-अलग एंट्री-एक्जिट

दो मंजिली इमारत में आगमन (अराइवल) और प्रस्थान (डिपार्चर) के लिए अलग-अलग रास्ते होंगे। निचले तल पर अराइवल यानी दूसरे शहरों से आने वाले यात्रियों के लिए व्यवस्था की गई है। यहां चार एक्जिट गेट होंगे, जबकि पहली मंजिल से डिपार्चर की व्यवस्था है। इस पर पांच एंट्री होगी।

इसके बाद पांच सिक्योरिटी गेट होंगे। नए भवन में 64 चेक-इन काउंटर होंगे, जिससे यात्रियों को लंबी कतारों में लगना नहीं पड़ेगा। सभी द्वार पर तीन प्रकार के सेंसर युक्त सीसी कैमरे लगाए गए हैं।

अब एयरोब्रिज से विमान में जाएंगे यात्री

पहले यात्रियों को बस से विमान तक पहुंचाया जाता था। अब एयरोब्रिज से यात्री सीधे विमान में प्रवेश करेंगे। वर्तमान में पांच एयरोब्रिज बनाए गए हैं। भवन का डिजायन ऐसा है कि आवश्यकता पड़ने पर भविष्य में इनकी संख्या को बढ़ाया जा सकता है।

हालांकि, पुराने भवन को ध्वस्त करने के बाद ही पांचों एयरोब्रिज का प्रयोग किया जाना संभव हो सकेगा। अभी महज एक एयरोब्रिज ही यात्रियों के आवागमन के लिए तैयार है। दूसरे शहरों से आने वाले यात्री थ्रीडी पेंटिंग के माध्यम से बिहार की संस्कृति और यहां के पर्यटन स्थलों की झलक पा सकेंगे।

पीटीटी का निर्माण जारी, पार्क होंगे 11 विमान

पैरेलल टैक्सी ट्रैक (पीटीटी) का निर्माण भी तेजी से किया जा रहा है। इसके बाद यदि एक फ्लाइट रनवे पर खड़ी रही तो दूसरे विमान को हवा में चक्कर लगाने की जरूरत नहीं होगी। रनवे पर मौजूद विमान को तत्काल पीटीटी पर भेज दूसरे विमान को लैंड कराया जा सकेगा।

वहीं, वर्तमान में पांच विमानों की यहां पार्किंग हो सकती है। पुराने भवन को ध्वस्त कर वहां पार्किंग-बे बनाया जाएगा, जिससे 11 विमान एक साथ खड़े हो सकेंगे। इधर, चार मंजिला मल्टी लेवल पार्किंग में साढ़े सात सौ वाहन पार्क हो सकेंगे।

पार्किंग में वाहन खड़े करने के बाद यात्री ट्रैवलेटर से टर्मिनल की पहली मंजिल पर स्थित डिपार्चर तक जाएंगे। वहीं, आने वाले यात्री टर्मिनल से निकल कर पैदल मल्टी लेवल पार्किंग तक जा सकते हैं।

पार्किंग की विभिन्न मंजिलों पर जाने के लिए रैंप और लिफ्ट दोनों की व्यवस्था है। पिकअप एंड ड्राप के लिए अलग से रैंप की व्यवस्था है, जो एराइवल और डिपार्चर दोनों के लिए उपलब्ध रहेगा।

शयनकक्ष और रेक्लाइनर कुर्सियों की सुविधा

नए टर्मिनल में शयनकक्ष (डारमेट्री) और रेक्लाइनर कुर्सियों की भी सुविधा होगी। विमान देर होने अथवा रद रहने की स्थिति में यात्रियों को डारमेट्री की सुविधा मिलेगी। वहीं, समय से पहले पहुंचने वाले यात्री रेक्लाइनर कुर्सियों पर आराम कर सकते हैं।

वर्तमान में यह सुविधा पटना एयरपोर्ट पर नहीं थी। फ्लाइट रद होने पर विमानन कंपनियां यात्रियों को होटल में ठहराती थीं। उन्हें वहां तक लेकर जाने के लिए बस की भी व्यवस्था करनी पड़ती थी। अत्याधुनिक सुविधाओं से लैस कार्गो कांप्लेक्स भी कार्यरत हो चुका है।

इमिग्रेशन काउंटर पर इंटरनेशनल फ्लाइटें नहीं

नए टर्मिनल भवन में इमिग्रेशन काउंटर बनाया गया है। हालांकि, अभी विदेश के लिए पटना एयरपोर्ट से सीधी फ्लाइट नहीं है। माना जा रहा है कि जल्द सिंगापुर, बैंकाक, नेपाल जैसे देशों के लिए फ्लाइटें शुरू हो सकती हैं। लेकिन, इसमें सबसे बड़ी बाधा रनवे है।

नए टर्मिनल भवन का निर्माण किया गया है, लेकिन पटना एयरपोर्ट के रनवे का विस्तार नहीं हो सका। रनवे की लंबाई 2,072 मीटर है। यहां फ्लाइट को 2.5 डिग्री पर उतारना पड़ता है, जो सुरक्षित नहीं है।

सुरक्षा मानकों के अनुसार, फ्लाइट को तीन डिग्री क्षितिज पर लैंड कराना सुरक्षित माना जाता है। ऐसे में निकट भविष्य में अंतरराष्ट्रीय विमान की सुविधा मिलना मुश्किल बताया जाता है।

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Bulldozer Action: पटना में बुलडोजर एक्शन से दुकानदारों में मचा हड़कंप, कई दुकानों को किया गया ध्वस्त

Dainik Jagran - May 30, 2025 - 10:14am

संवाद सहयोगी, पालीगंज। जिलाधिकारी के निर्देश पर पालीगंज नगर पंचायत क्षेत्र के मुख्य बाजार स्थित बिहटा मोड़ से चढ़ोस मोड़ एवं हॉस्पिटल रोड से लेकर बिहटा मोड़ तक नगर कार्यपालक पदाधिकारी सुनील कुमार, मजिस्ट्रेट राजदेव साह अतिक्रमण हटाया गया।

अतिक्रमण पर चला बुलडोजर

मजिस्ट्रेट राजदेव साह, इंस्पेक्टर दिनेश कुमार व भारी पुलिस बल की मौजूदगी में नगर बाजार में अतिक्रमण मुक्त कराने के लिए बुलडोजर चलाया। इस दौरान बाजार में सड़क किनारे फुटपाथ पर दुकानदारों के द्वारा किया गया अतिक्रमण को बुलडोजर से हटाया गया।

अतिक्रमण की वजह से हर दिन लगता है जाम

स्थानीय बिहटा मोड से चंढ़ोस मोड़ तक घोषित नो वेंडर जोन में अतिक्रमण होने से बाजार से गुजरने वाली छोटी बड़ी गाड़ियों के साथ-साथ आम ग्रामीणों को घंटों जाम की समस्या से जूझना पडता है।

बिहटा मोड़ से चंढोस मोड़, नाला रोड,अस्पताल रोड होते हुए पेट्रोल पंप तक रोड किनारे लगे दोनों ओर मांस मछली ,फल , सब्जी की दुकानों तथा झोपडीनुमा फुटपाटी दुकानों को जेसीबी से तोड़कर हटाया। इससे आने-जाने वाले लोगों को हर दिन लगने वाले जाम से छुटकारा मिलेगा।

चालान भी काटा गया

बुलडोजर एक्शन के दौरान अधिकारियों ने अतिक्रमणकारियों का 22 हजार रुपये का चालान भी काटा। साथ ही इलाके को अतिक्रमण मुक्त कराया।

जेसीबी, ट्रैक्टर लेकर मुस्तैद रहे पुलिसकर्मी

सहायक लोक स्वच्छता पदाधिकारी अलंकारिका, महिला दारोगा प्रेमलता एवं कर्मियों के दलबल के साथ जेसीबी, ट्रैक्टर लेकर मुस्तैद रहीं। इस बाबत कार्यपालक पदाधिकारी ने बताया कि जिला प्रशासन के निर्देश पर महीने में दो दिन अंतिम बुधवार एवं गुरुवार के दिन शहर और बाजार के मुख्य सड़कों से अतिक्रमण हटाना निर्धारित है।

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Bihar News: बिहार में पत्थर खनन को बढ़ावा देने की तैयारी में जुटी नीतीश सरकार, बनाया ये नया प्लान

Dainik Jagran - May 30, 2025 - 10:05am

राज्य ब्यूरो, पटना। प्रदेश सरकार अन्य राज्यों से आयात किए जाने वाले पत्थर के स्थान पर अब प्रदेश में ही व्यापक पैमाने पर पत्थर खनन की योजना पर काम कर रही है। परंतु इसके पूर्व सरकार के स्तर पर इस संबंध में नीतिगत निर्णय होगा इसके बाद ही कार्य आगे बढ़ेगा। बावजूद इस दिशा में खान एवं भू-तत्व विभाग ने प्रक्रियागत कार्य प्रारंभ कर दिए गए हैं। सबसे पहले जिलों से डिस्ट्रिक सर्वे रिपोर्ट (डीएसआर) तलब की गई है।

राज्य के निर्माण कार्यो में पत्थरों की अधिकांश आपूर्ति अन्य राज्यों से होती है, जिसका नुकसान यह है कि सरकार का बड़ा राजस्व अन्य राज्यों में चला जाता है। जिसे देखते हुए इस संबंध में नीतिगत सहमति बनाने का निर्णय हुआ है।

मुख्य सचिव अमृत लाल मीणा के स्तर पर हुई एक बैठक में खान एवं भू-तत्व विभाग को यह निर्देश दिए कि वह जिन आठ स्थानों से पत्थर खनन हो रहा था उसकी वर्तमान क्षमता और पर्यावरण स्वीकृति पर काम करें। इसके साथ ही अन्य जिलों के पहाड़ों से पत्थर खनन की योजना भी तैयार करें।

बैठक में मिले निर्देश के बाद विभाग ने जिलों से डीएसआर (डिस्ट्रिक सर्वे रिपोर्ट) मांगी है। रिपोर्ट से स्पष्ट हो सकेगा कि किस पहाड़ से और कितना पत्थर खनन किया जा सकता है। उक्त पहाड़ का क्षेत्रफल कितना है।

खनन के बाद निकलने वाले पत्थर की संभावित मात्रा क्या होगी। इसके अलावा खनन के बाद पत्थर को मुख्य मार्ग तक लाने की व्यवस्था क्या होगी और इससे राज्य सरकार को कितना अतिरिक्त राजस्व प्राप्त होगा।

पर्यावरण पर पड़ने वाले प्रभाव का अध्ययन भी होगा

विभाग के सूत्रों ने बताया कि संभाव्यता तलाश के क्रम में सरकार यह अध्ययन भी करेगी कि पहाड़ों से पत्थर खनन से पर्यावरण पर क्या प्रभाव पड़ेगा। इसके अलावा पहाड़ों का ऐतिहासिक, पौराणिक और पर्यावरणीय महत्व का एक डेटाबेस भी तैयार किया जाएगा।

इसी कड़ी में पूर्व से जिन स्थानों से पत्थर खनन हो रहा था उसकी रिपोर्ट का आकलन भी होगा। बता दें कि फिलहाल शेखपुरा में सात और गया में एक खनन पट्टा दिया गया है वहां से खनन हो रहा है।

कार्य विभाग झारखंड से भी प्राप्त करेंगे खनन पट्टा

मुख्य सचिव के स्तर पर हुई बैठक में यह सहमति भी बनी है कि प्रदेश के कार्य विभाग पत्थरों की आपूर्ति के लिए पड़ोसी राज्य झारखंड से खनन पट्टा प्राप्त करें ताकि उन्हें समय पर पर्याप्त मात्रा में पत्थरों की आपूर्ति सुनिश्चित हो सके। यह कार्य सुगमता से हो इसके लिए राज्य खनिज कारपोरेशन को फ्रेमवर्क तैयार करने का जिम्मा सौंपा गया है।

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Bihar News: शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में मिलेगा बेहतर इलाज, पाली क्लिनिक की सुविधा देने की तैयारी

Dainik Jagran - May 30, 2025 - 9:13am

राज्य ब्यूरो, पटना। स्वास्थ्य विभाग प्रदेश के नामित शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में पाली क्लिनिक की सुविधा देगी। इसके पूर्व इन स्वास्थ्य केंद्रों पर पाली क्लिनिक सेटअप विकसित किया जाएगा, जिसके बाद यहां एक ही छत के नीचे कई तरह की सेवाएं मिलनी शुरू हो जाएंगी।

स्वास्थ्य विभाग ने इस दिशा में पहल कर दी है। स्वास्थ्य विभाग ने शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में पाली क्लिनिक की सुविधा विकसित करने की जिम्मेदारी राज्य स्वास्थ्य समिति को सौंपी है। स्वास्थ्य समिति यह कार्य निजी एजेंसी के माध्यम से करेगी। इसके लिए टेंडर भी जारी हो चुका है।

बीते दिनों इस मसले पर उच्चस्तरीय बैठक भी हुई, जिसमें यह बात सामने आई कि पाली क्लिनिक सेटअप विकसित करने के लिए जो टेंडर जारी किया गया था, उसमें तीन निजी एजेंसियों ने बोली लगाई थी। बोली लगाने वालों में सिटी सेंट्रल हास्पिटल प्रा. लि., प्रांस हेल्थ केयर इंडिया प्रा. लि. और सम्मान फाउंडेशन शामिल हैं।

स्वास्थ्य समिति के सूत्रों की माने तो जल्द ही तय की गई एजेंसी से करार को अंतिम रूप दिया जाएगा। बता दें कि शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में पाली क्लिनिक सेटअप के बाद यहां प्राथमिक देखभाल, प्रयोगशाला निरीक्षण, छोटी शल्य चिकित्सा की सुविधा मिल सकेगी।

पाली क्लिनिक सामान्य क्लिनिक की तुलना में अपेक्षाकृत बड़ी होती है। विभाग के अनुसार इस पूरी कवायद का मकसद एक ही स्थान पर अस्पताल आने वाले मरीज को विभिन्न प्रकार की स्वास्थ्य सेवाएं उपलब्ध कराना है। यहां बीमारियों की जांच और निदान के लिए कई विशेषज्ञ डॉक्टर तैनात किए जाएंगे। इसके अलावा आधुनिक उपकरण, प्रशिक्षित नर्स और पारा मेडिकल स्टॉफ की प्रतिनियुक्ति भी की जाएगी।

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